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हमें खाली-पीली 'हैप्पी विमंस डे' या महिला दिवस की बधाई सुनना अच्छा नहीं लगता

-सत्याग्रह,

प्रसव का दर्द और मातृत्व का सुख तब भी था जब भाषाएं और सभ्यताएं भी विकसित नहीं हुई थीं. यानी मातृत्व का इतिहास दुनिया की किसी भी सभ्यता के इतिहास से भी पुराना है. समय-समय पर दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में स्त्रीवादी लेखिकाओं ने मातृत्व के बारे में अपने विचार रखे हैं. लेकिन अपने भारतीय समाज में तमाम स्त्रीवादी आंदोलनों, विचार-विमर्श, चर्चा और लेखन के बाद भी एक बड़ी हद तक मातृत्व का पुरुष-पाठ ही प्रचलित है.

मानव इतिहास के जन्म के समय से स्त्री मां बनती और मातृत्व को जीती आ रही है, लेकिन मातृत्व का स्त्री-पाठ लिखने की गुंजाइश आज शताब्दियों के बाद भी बनी हुई है. अफसोस कि हम सदियों से मातृत्व के पुरुष-पाठ को ही सदियों से पढ़ते, सुनते और गुनते आ रहे हैं. पुरुषों ने खुद को तो ‘लेबर रूम‘ से कोसों दूर रखा, लेकिन उनका मातृत्व-पाठ हमारी कोख से दिमाग तक को विषाक्त बनाए हुए है.

यह अफसोसजनक है कि पितृसत्ता ने बच्चा जनने जैसे निहायत स्त्रैण काम को भी खुद परिभाषित किया है. जो गर्भावस्था और प्रसव-दर्द का ककहरा भी नहीं जानते, उन्होंने मातृत्व का पूरा शब्दकोश लिख डाला है. 

यह अफसोसजनक है कि पितृसत्ता ने बच्चा जनने जैसे निहायत स्त्रैण काम को भी खुद परिभाषित किया है. जो गर्भावस्था और प्रसव-दर्द का ककहरा भी नहीं जानते, उन्होंने मातृत्व का पूरा शब्दकोश लिख डाला है. मातृत्व के महिमामंडन के दौरान यह बात हमेशा छिपाई गई कि मां बनने में सुख से पहले भयंकर दुख-दर्द भी है. ऐसा इसलिए किया गया ताकि हम प्रसव के घोर यातना-शिविर की चीखों और टीसों पर ध्यान न लगाकर, साल दर साल पितरों के वंशफूल खिलाती रहें.

हमें यह भी कभी नहीं बताया गया, कि मां बनना हमेशा ही सुखद नहीं है. आप कम उम्र में मां बनी लड़कियों, बेटियों की मांओं और अविवाहित मांओं से जान सकते हैं कि वे कितनी सुखी हैं. सुखी हैं भी या नहीं! असल में हमारा समाज ऐसी असंख्य लड़कियों (बालिका वधुओं) को जबरदस्ती प्रसव में धकेलता है जो मां बनने लायक ही नहीं. दूसरी तरफ जो मां बनने की प्रबल इच्छा रखती हैं (तलाकशुदा, परित्यक्ता, विधवा), उन्हें मातृत्व सुख से वंचित किया जाता है. हमारे देश में मांओं और मातृत्व का बेहद ऊंची आवाज में महिमामंडन तो किया गया है, लेकिन मांओं की बुनियादी जरूरतों और सुविधाओं को हद दर्जें तक अनदेखा किया गया है.

 

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