Deprecated (16384): The ArrayAccess methods will be removed in 4.0.0.Use getParam(), getData() and getQuery() instead. - /home/brlfuser/public_html/src/Controller/ArtileDetailController.php, line: 73
 You can disable deprecation warnings by setting `Error.errorLevel` to `E_ALL & ~E_USER_DEPRECATED` in your config/app.php. [CORE/src/Core/functions.php, line 311]
Deprecated (16384): The ArrayAccess methods will be removed in 4.0.0.Use getParam(), getData() and getQuery() instead. - /home/brlfuser/public_html/src/Controller/ArtileDetailController.php, line: 74
 You can disable deprecation warnings by setting `Error.errorLevel` to `E_ALL & ~E_USER_DEPRECATED` in your config/app.php. [CORE/src/Core/functions.php, line 311]
Warning (512): Unable to emit headers. Headers sent in file=/home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php line=853 [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 48]
Warning (2): Cannot modify header information - headers already sent by (output started at /home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php:853) [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 148]
Warning (2): Cannot modify header information - headers already sent by (output started at /home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php:853) [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 181]
Notice (8): Undefined variable: urlPrefix [APP/Template/Layout/printlayout.ctp, line 8]news-clippings/नर्सरी-एडमिशन-पर-दिल्ली-हाईकोर्ट-का-बड़ा-फैसला-केजरीवाल-सरकार-को-झटका-11278.html"/> न्यूज क्लिपिंग्स् | नर्सरी एडमिशन पर दिल्ली हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, केजरीवाल सरकार को झटका | Im4change.org
Resource centre on India's rural distress
 
 

नर्सरी एडमिशन पर दिल्ली हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, केजरीवाल सरकार को झटका

दिल्ली हाई कोर्ट ने निजी स्कूलों में नर्सरी दाखिले के लिए केजरीवाल सरकार की ओर से जारी दिशा-निर्देश पर रोक लगा दी है। हाई कोर्ट ने कहा कि सरकार का नोटिफिकेशन पेरेंट्स से उनके अपनी पसंद के स्कूल मे दाखिला का अधिकारों छीन रहा था, लिहाजा इसे रद्द किया जाता है। हाई कोर्ट ने कहा कि क्वालिटी एजुकेशन के नाम पर सरकार प्राइवेट स्कूलों के साथ मनमानी नहीं कर सकती है।


हाई कोर्ट के इस फ़ैसले से इस साल नर्सरी एडमिशन को लेकर रास्ता साफ हो गया है। यह अभिवावको और स्कूलों के लिए ये बड़ी राहत है। दिल्ली हाई कोर्ट ने नर्सरी एडमिशन पर याचिकाकर्ताओं, अभिभावकों, प्राइवेट स्कूलों और राज्य सरकार की दलीलें करीब डेढ़ महीने सुनने के बाद ये फ़ैसला दिया है। प्राइवेट स्कूलों ने दिल्ली सरकार की नर्सरी में दाखिले के लिए एलजी के नोटिफिकेशन को हाई कोर्ट मे चुनौती दी थी।


नोटिफिकेशन मे सरकार ने प्राइवेट स्कूलों को कहा गया था कि डीडीए की जमीन पर बने स्कूल नर्सरी में दाखिला लेने के लिए नेबरहुड क्रेटरिया को लागू करेंगे। इस नोटिफिकेशन से दिल्ली के 298 निजी स्कूल प्रभावित हो रहे थे। स्कूलों की एक्शन कमेटी का कहना था कि उनके हितों को नुकसान नहीं होना चाहिए और सरकार को छात्रों के बीच कोई भेदभाव नहीं करना चाहिए। बच्चे के माता-पिता के पास ये अधिकार होना चाहिए की वो अपने बच्चे को किस स्कूल में पढ़ाये।


उनका कहना था कि उन्हें डीडीए की जमीन आवंटित करते समय भी नेबरहुड क्रेटेरिया तय नहीं किया गया था। हाईकोर्ट ने केंद्र और दिल्ली सरकार से कहा था कि वे स्कूलों का आवंटनपत्र दिखाएं जिसके आधार पर नेबरहुड क्रेटेरिया तय किया गया है। स्कूलों का कहना था कि सरकार का नोटिफिकेशन कानून के मुताबिक नहीं है और ये मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करते हैं।


इस मामले की सुनवाई के दौरान जस्टिस मनमोहन के समक्ष निजी स्कूलों ने अपनी स्वायत्तता का हवाला देकर कहा था कि सरकार को दाखिला प्रक्रिया में दखल देने का अधिकार नहीं है। निजी स्कूलों के संघ ‘ एक्शन कमेटी और फोरम फॉर क्वालिटी एजुकेशन ने सरकार द्वारा 7 जनवरी को दाखिले के लिए जारी दिशा-निर्देश को चुनौती दी थी। वहीं, कुछ अभिभावकों ने भी सरकार के दिशा-निर्देश को चुनौती दी थी। अभिभावकों ने दाखिला नीति को रद्द करने की मांग करते हुए हाईकोर्ट को बताया कि सरकार और स्कूलों के बीच भूमि आवंटन को लेकर जो करार है उससे उनका कोई लेनादेना नहीं है। वह चाहते हैं कि अपनी पसंद के स्कूल चुनने के उनके बच्चों के अधिकारों का हनन न हो।


दूसरी तरफ सरकार ने कहा कि सरकारी जमीन पर बने स्कूलों को भूमि आवंटन की शर्तों का पालन करना होगा। सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट के फैसले को ध्यान में रखते हुए ही इन स्कूलों में भूमि आवंटन की शर्तों के अनुसार दाखिले के लिए 7 जनवरी को दिशा-निर्देश जारी किए गए थे। सरकार ने दाखिला नीति को चुनौती देने वाली याचिकओं को खारिज करने की मांग की थी। वहीं, शिक्षा के अधिकार पर काम करने वाले गैर सरकारी संगठन ने सरकार द्वारा दाखिले के लिए जारी दिशा-निर्देश को सही बताते हुए स्कूलों की मांग को खारिज करने की मांग की है। दिल्ली सरकार ने सरकारी जमीन पर बने निजी स्कूलों में प्रबंधन कोटा समाप्त करते हुए दाखिले के लिए सिर्फ घर से स्कूल की दूरी (नेबरहुड नीति) को प्रमुख आधार आधार बनाया है।