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बदल गए RTI के नियम-- रमेश कुमार सिंह

आपके लिए जरूरी खबर। आरटीआई (सूचना का अधिकार) के नियम बदल दिए गए हैं। बेमतलब के प्रश्नों को रोकने के लिए अब क्यों, कब और कैसे सवालों का जवाब इसके तहत नहीं दिया जाएगा। काल्पनिक प्रश्नों का उत्तर देने पर भी रोक लगा दी गई है। ये बदलाव जल्द ही लागू हो जाएंगे।

ये होगा बदलाव...

पुराना नियम 1- एक ही आरटीआई में कई प्रश्न पूछ लिए जाते थे। आरटीआई मिलने पर संबंधित विभाग सभी प्रश्नों के जवाब बना कर प्रति पन्ना 10 रुपये के हिसाब से भुगतान लेकर उत्तर देता था।

बदलाव :- अब 500 शब्दों से अधिक लंबे उत्तर वाली आरटीआई मिलने पर संबंधित विभाग आरटीआई को भेजने वाले व्यक्ति को लौटा सकता है।

पुराना नियम 2- अस्पष्ट सवाल भी विभागों से पूछे जाते थे। इनमें हस्तलिखित और टाइप किए दोनों तरह के सवाल होते थे। इनके जवाब देने के लिए विभाग इन पर माथापच्ची करता था।

बदलाव :- अब किसी भी विभाग के पास अस्पष्ट या ना समझ में आने वाले प्रश्न आने पर विभाग आरटीआई निरस्त कर सकेगा।

पुराना नियम 3- एक ही आरटीआई में एक से अधिक विभागों के सवाल पूछ लिए जाते थे। विभाग अपने से संबंधित सवालों के जवाब देते हुए दूसरे विभागों के जवाब भी इकट्ठा कर भेजता था।

बदलाव - अब एक आरटीआई में केवल एक ही विभाग से संबंधित सवाल पूछे जा सकेंगे। अन्य विभागों से संबंधित सवालों के लिए दूसरी आरटीआई तैयार करनी होगी।

पुराना नियम 4 - आरटीआई के तहत पूछे गए क्यों, कब, कैसे वाले सवालों के जवाब भी संबंधित विभाग पहले जवाब दे देते थे।
बदलाव - अब क्यों, कब और कैसे वाले सवालों के जवाब संबंधित विभाग नहीं देगा। इन प्रश्नों के जवाब देने की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है।

पुराना नियम 5- किसी भी विभाग से किसी कार्य के संबंध में परामर्श भी मांग लिया जाता था।
बदलाव :- अब किसी भी विभाग से संबंधित परामर्श मांगने पर संबंधित विभाग परामर्श नहीं देगा। इसे अनिवार्यता से मुक्त किया गया है।

पुराना नियम 6- मेरे हिसाब से बदमाशों को देखकर पुलिस ने गोली चलाई होगी। ऐसा है क्या? ऐसे काल्पनिक प्रश्नों का जवाब भी अब तक दिया जाता है।
बदलाव :- अब काल्पनिक प्रश्नों का जवाब देना विभागों के लिए अनिवार्य नहीं होगा।

...तो नहीं मिलेगा आपको जवाब

अगर सवाल का जवाब बहुत पुराना है और इसका जवाब तलाशने में कार्यालय का काम भी प्रभावित होता है तो ऐसे सवालों के जवाब देना जरूरी नहीं होगा। बदलाव में कहा गया है कि आपके सवाल से अगर जन सूचना अधिकारी की दक्षता प्रभावित होती है तो आपके सवाल का जवाब देना अनिवार्य नहीं रहेगा।

चार दिन आगरा में लगेगा जनसूचना अधिकारियों का जमावड़ा
आगरा मंडल में चारों जिलों के जन सूचना अधिकारियों का एक-एक दिन का प्रशिक्षण आगरा में 27 से 30 जून तक चलेगा। इसमें 27 जून को आगरा, 28 को फिरोजाबाद, 29 को मैनपुरी और 30 को मथुरा के जन सूचना अधिकारियों का प्रशिक्षण आगरा के मंडलायुक्त सभागार में होगा।

न आने वाले अधिकारियों को मिलेगी बड़ी सजा

प्रशिक्षण में न आने वाले अधिकारियों को बड़ी सजा दी जाएगी। अनुपस्थित अधिकारी से प्रशिक्षण में उस पर होने वाले 950 रुपये के व्यय की वसूली के साथ ही उसका एक दिन का वेतन भी काटा जाएगा।