Deprecated (16384): The ArrayAccess methods will be removed in 4.0.0.Use getParam(), getData() and getQuery() instead. - /home/brlfuser/public_html/src/Controller/ArtileDetailController.php, line: 150
 You can disable deprecation warnings by setting `Error.errorLevel` to `E_ALL & ~E_USER_DEPRECATED` in your config/app.php. [CORE/src/Core/functions.php, line 311]
Deprecated (16384): The ArrayAccess methods will be removed in 4.0.0.Use getParam(), getData() and getQuery() instead. - /home/brlfuser/public_html/src/Controller/ArtileDetailController.php, line: 151
 You can disable deprecation warnings by setting `Error.errorLevel` to `E_ALL & ~E_USER_DEPRECATED` in your config/app.php. [CORE/src/Core/functions.php, line 311]
Warning (512): Unable to emit headers. Headers sent in file=/home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php line=853 [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 48]
Warning (2): Cannot modify header information - headers already sent by (output started at /home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php:853) [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 148]
Warning (2): Cannot modify header information - headers already sent by (output started at /home/brlfuser/public_html/vendor/cakephp/cakephp/src/Error/Debugger.php:853) [CORE/src/Http/ResponseEmitter.php, line 181]
न्यूज क्लिपिंग्स् | प्रदूषण की मार,प्राणहीन हो रही प्राणवायु

प्रदूषण की मार,प्राणहीन हो रही प्राणवायु

Share this article Share this article
published Published on Jun 3, 2014   modified Modified on Jun 3, 2014
सूरज की तपिश, सड़क से निकलती गर्मी, त्वचा को जला देने वाली धूप के बीच वाहनों की चिल्ल-पों। रेड लाइट पर खड़ी कार व अन्य वाहनों से निकलता धुआं और एसी चलने के कारण निकलती गर्म हवा के कारण सांस लेना मुश्किल हो जाता है। कई बार दम घुटने जैसी हालत हो जाती है। इंतजार इस बात का रहता है कि कब रेड लाइट ग्रीन हो और वाहनों के बीच से निकलने का मौका मिले। सुबह से लेकर शाम जैसे-तैसे गुजरती है। घर पहुंचने तक सिर दर्द हो जाता है। सुबह के समय गलती से सफेद रंग के कपड़े पहन लिए तो, घर पहुंचने तक वे जगह-जगह से काले हो जाते हैं। मानो किसी ने काले रंग का पाउडर कपड़ों पर डाल दिया हो।

शहरी क्षेत्र में वाहनों के बढ़ते दबाव के कारण लगातार बढ़ता प्रदूषण सेहत के प्रतिकूल हालात पैदा कर रहा है। हजारों दोपहिया वाहन चालकों को यह समस्या रोज झेलनी पड़ती है। वायु प्रदूषण के सबसे बड़े कारक वाहन हैं। न सिर्फ पैदल लोग, बल्कि दोपहिया वाहन चालकों को शहरी क्षेत्र में वायु प्रदूषण के कारण भारी परेशानी झेलनी पड़ती है।

वाहनों से निकलने वाले धुएं और एसी चलने के कारण निकलने वाली गर्म हवा वातावरण में सल्फर डाई ऑक्साइड और नाइट्रोजन डाई ऑक्साइड की मात्रा भी लगातार बढ़ रही है। वहीं औद्योगिक क्षेत्रों में भी जहरीली गैसों और छोटे कणों दोनों की मात्रा में बढ़ोतरी हुई है।

----------

जहरीली गैसों और छोटे-छोटे कणों से हो रही गंभीर बीमारी

शहर में बढ़ते वायु प्रदूषण से गंभीर बीमारी दस्तक दे रही है। बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन और सड़कों का निर्माण कार्य से आसपास मौजूद धूल व वाहनों की बढ़ती आवाजाही के चलते वातावरण में प्रदूषण की मात्रा बढ़ रही है।

विजयपाल बघेल, पर्यावरणविद्

---------

वातावरण में छोटे-छोटे कण घुलने से लोगों के स्वास्थ्य पर गंभीर असर पड़ रहा है। फैक्ट्रियों से निकलने वाले प्रदूषण के छोटे-छोटे कण मनुष्य के फेफड़ों में फंस जाते हैं, जिससे कैंसर होने का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।

डॉ. दीपक तलवार, श्वांस रोग विशेषज्ञ

---------

प्रदूषण से हो रही प्री-मैच्योर मौतें

सेंटर फार साइंस एंड एनवायरमेंट (सीएसई) की रिपोर्ट में यह कहा गया है कि दिल्ली एनसीआर में प्रत्येक वर्ष 3 हजार प्री-मेच्योर मौतें हो रही हैं। वहीं एक शोध के मुताबिक दक्षिण एशिया के देशों में लगभग 10 लाख प्री-मैच्योर मौतें किसी न किसी रूप में वायु प्रदूषण की वजह से ही हुई हैं।

----------

नोएडा में वायु प्रदूषण की मुख्य वजह

-लगातार बढ़ रहे बिल्डिंग, मॉल्स, फ्लाईओवर व अन्य निर्माण कार्य

-सड़कों के किनारे भारी मात्रा में मौजूद धूल।

-बढ़ती गाड़ियों की आवाजाही।

-----------

प्रदूषण फैलाने वाले कारक

ऑटोमोबाइल : 75 फीसदी

लघु व मध्यम उद्योग : 25 फीसदी

----------

शहर में चल रहे उद्योग

-नोएडा : 7500

-ग्रेटर नोएडा :

---------

कोयला, फ्यूल व फर्निश ऑयल से निकलने वाले प्रदूषित तत्व

राख के कण, सल्फर डाईआक्साइड, नाइट्रोजन डाईआक्साइड व एसपीएम।

------------

वायु प्रदूषण की मात्रा

रिहायशी क्षेत्रों के आंकड़े

2011 2012 2013

एनओटू 44 32 26

एसओटू 11 8 7

पीएम-10 140 138 122

--------

औद्योगिक क्षेत्रों के आंकड़े

2011 2012 2013

एनओटू 45 36 29

एसओटू 11 10 9

पीएम-10 1377 140 131

-----------

एनओटू : नाइट्रोजन डाईआक्साइड

एसओटू : सल्फर डाईआक्साइड

पीएम-10 : 10 माइक्रोग्राम तक के सूक्ष्म कण

http://naidunia.jagran.com/other/uttar-pradesh/noida-11367302


Related Articles

 

Write Comments

Your email address will not be published. Required fields are marked *

*

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close