वित्त मंत्री अरुण जेटली ने मंगलवार को कहा कि राजकोषीय घाटे को लेकर सरकार चिंचित नहीं है। सरकार विनेवेश में सामने आ रही कठिनाईयों के बावजूद इस घाटे को नियंत्रित करने में सक्षम है। जेटली ने कहा मुझे नहीं लगता है कि कोई चिंता की बात है .. सरकार ने राजकोषीय घाटे का लक्ष्य बहुत हल्का रखा था जो 4.1 प्रतिशत घट कर चार प्रतिशत हो गया और (2015-16) के...
More »SEARCH RESULT
विकास की रफ्तार बढ़ाएंगे निरंतर जारी सुधार
हांगकांग। विदेशी निवेशकों को लुभाते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने भारत में कारोबार करना सुगम बनाने का वादा किया है। उन्होंने कहा है कि निरंतर जारी सुधारों के चलते अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विपरीत माहौल के बावजूद आर्थिक विकास की दर बीते साल के 7.3 फीसद की तुलना में ज्यादा रहेगी। वित्त मंत्री मानते हैं कि दुनिया पर छाए सुस्ती के बादलों के बीच भी भारत में चमकता सितारा बने रहने...
More »राजकोषीय घाटा 3 प्रतिशत तक लाने का लक्ष्य बड़ी चुनौती : अरुण जेटली
नयी दिल्ली : वित्त मंत्री अरुण जेटली ने आज कहा कि राजकोषीय घाटे को कम करके वर्ष 2017-18 तक जीडीपी के 3 प्रतिशत लाने का लक्ष्य एक बडी चुनौती है लेकिन इसे हासिल करने के क्रम में सरकार सार्वजनिक क्षेत्र के आधारभूत ढांचे और सिंचाई परियोजनाओं को आगे बढाने से समझौता नहीं करेगी. लोकसभा में एक पूरक प्रश्न के उत्तर में वित्त मंत्री ने कहा, 'हमें खुशी है कि हम...
More »किसके अच्छे दिन लाएगा बजट- उपेन्द्र प्रसाद
आगामी बजट सही मायने में नरेंद्र मोदी सरकार का पहला बजट होगा, क्योंकि अरुण जेटली द्वारा पेश किया गया पिछला बजट उनके पूर्ववर्ती यूपीए के वित्त मंत्री पी चिदंबरम द्वारा कुछ महीने पहले पेश किए गए अंतरिम बजट का ही विस्तार था। इस बजट पर देश और दुनिया की निगाहें लगी हुई हैं और लोग देखना चाह रहे हैं कि मोदी सरकार आने वाले समय में देश की अर्थव्यवस्था को...
More »फूड सब्सिडी में सुधारों से कम होगा महंगाई का दबाव, घटेगा वित्तीय घाटा : मूडीज
नई दिल्ली। क्रेडिट रेटिंग एजेंसी मूडीज का कहना है कि फूड सब्सिडी और डिस्ट्रीब्यूशन सिस्टम में सुधारों से भारत का मुद्रास्फीतिक दबाव और राजकोषीय घाटा कम होगा। गत 21 जनवरी को सरकार की एक समिति ने फूड सब्सिडी और वितरण सिस्टम में सुधार के संबंध में अपने सुझाव दिए हैं। मूडीज की रिपोर्ट के अनुसार, समिति की ओर से नीतिगत स्तर पर सुधार की जो सिफारिशें की गई हैं, उनसे भारत...
More »