भारतीय कंपनियों ने दुनियाभर के टैक्स हैवन यानी भारी कर रियायतें देने वालेे वाले देशों में काफी पैसा छिपा रखा है। 2012-13 से भारतीयों ने 31,000 करोड़ रुपए से ज्यादा सिंगापुर में निवेश किए हैं। नीदरलैंड्स को भी बहुत पसंद किया जाता है। वहां 2013-14 में 11,330 करोड़ लगाए गए। सत्ता में आने के पहले भाजपा के प्रमुख वादों में काले धन को वापस लाने का वादा भी था। इस...
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अगले वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटे को दायरे में रखना चुनौतीपूर्ण: समीक्षा
सरकार चालू वित्त वर्ष में 3.9 प्रतिशत के राजकोषीय घाटे का लक्ष्य हासिल कर लेगी, लेकिन सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने और वैश्विक अर्थव्यवस्था के धीमा होने से 2016-17 में इसे पूर्व के अपेक्षित दायरे में रखना चुनौतीपूर्ण होगा। सरकार ने मध्यावधिक राजकोषीय सुदृढीकरण योजना के तहत अगले वित्त वर्ष के लिये राजकोषीय घाटा जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) के 3.5 प्रतिशत और वर्ष 2017-18 में इसे जीडीपी...
More »ग्रामीण मांग बढ़ाने की जरूरत- बी के चतुर्वेदी
पिछले वर्ष जब वित्त मंत्री अरुण जेटली अपने पहले पूर्ण बजट पर बोलने के लिए खड़े हुए थे, तब अनेक लोग यह उम्मीद कर रहे थे कि वह कोई ऐसा नीतिगत दस्तावेज पेश करेंगे, जिससे मोदी सरकार के वायदों को पूरा करने की ठोस जमीन तैयार हो। इस बार जब वह बजट पेश करेंगे, तो अपेक्षाएं अचानक बहुत बदल गई हैं। राष्ट्र अब कुछ प्रमुख मुद्दों पर विश्वसनीय समाधान की...
More »छत्तीसगढ़- हर जिले को मिलेगा प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना का लाभ
दंतेवाड़ा(ब्यूरो)। जिले में अगले दस सालों के लिए वाटर बजटिंग होगी। घरेलू उपयोग से लेकर खेती-किसानी तथा औद्योगिक इस्तेमाल जैसे हर क्षेत्र में पानी के इस्तेमाल का अगले दस सालों तक का अनुमान लिया जाएगा। इसके आधार पर पानी का बंटवारा किया जाएगा ताकि सभी प्रकार की जरूरतों के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी उपलब्ध हो सके। इसके लिए डिस्ट्रिक्ट इरीगेशन प्लान तैयार किया जा रहा है। इसमें जिले में उपलब्ध...
More »देशप्रेम और देशद्रोह के बीच बजट-- पुष्पेश पंत
किसी भी सरकार के लिए बजट बनाना अौर उसे पास कराना एक बड़ी चुनौती होती है. यदि यह वित्तीय विधेयक पास नहीं होता, तो इसे सदन के विश्वास का अभाव समझा जाता है अौर सरकार गिर सकती है. अगर बजट पास भी हो जाये अौर उसके प्रावधानों से जनता में असंतोष फैलता है, तब भी किसी सरकार के लिए अपने जनाधार को बरकरार रखना कठिन होता जाता है. हर नयी...
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