कोलकाता. भारत के साथ पूरे विश्व में लोग तेजी से दिल की बीमारी के चपेट में आ रहे हैं. एक रिपोर्ट के अनुसार, प्रतिवर्ष विश्वभर में करीब 18 मिलियन लोगों की मौत कार्डियो वासकुलर (हृदय) जनित बीमारियों की चपेट में आने से होती है. यह बातें अपोलो ग्लेनिगल्स हॉस्पिटल के अध्यक्ष व पूर्वी भारत की सीइओ डॉ रुपाली बोस ने कहीं. वह वर्ल्ड हार्ट डे के मौके अस्पताल के ऑडिटोरियम...
More »SEARCH RESULT
पर्यावरण विमर्श का जनपक्ष-- अनुज लुगुन
विश्व बाजार में आज दो विपरीत चीजें एक साथ चल रही हैं- हथियारों की होड़ एवं पर्यावरण विमर्श. ग्लोबलाइजेशन ने ‘ग्लोबल' होने का जो सिद्धांत दिया, उसने ग्लोबल वार्मिंग की समस्या को भी पैदा किया. क्योंकि ‘ग्लोबल' होने का आधार बाजार को बनाया गया और बाजार ने पूंजी के जिस प्रलोभन को जन्म दिया, उसने हथियारों की होड़ को पैदा किया. अगर गंभीरता से देखा जाये, तो इन दोनों का...
More »हाथ में रोटी लेकर बच्चे करते हैं मध्यान्ह भोजन
बैतूल। स्कूलों में उपस्थिति बढ़ाने के नाम पर पानी की तरह पैसा तो बहाया जा रहा है, लेकिन आज भी कई स्कूलों में हाल-बेहाल हैं। भैंसदेही विकासखंड के ग्राम मच्छी बोरगांव स्थित प्राथमिक स्कूल में पिछले 2 साल से बच्चों को मध्यान्ह भोजन देने के लिए थालियां तक नहीं हैं। ऐसे में बच्चों को हाथ में रोटियां लेकर खाना पड़ता हैं तो सब्जी के लिए घर से कुछ लाना होता...
More »अब हवा सांस लेने लायक नहीं
दुनियाभर में वायु प्रदूषण के बढ़ते स्तर के खतरनाक प्रभाव का विश्लेषण करते हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने इसे ‘सार्वजनिक स्वास्थ्य के लिए आपातकाल' की संज्ञा दी है. वायु प्रदूषण से बड़ी संख्या में मौताें और बीमारियों से सबसे प्रभावित विकासशील अर्थव्यवस्थाएं हैं, लेकिन विकसित देश भी इससे बेअसर नहीं हैं वैश्विक जनसंख्या का 90 प्रतिशत से अधिक भाग प्रदूषित हवा में सांस लेने के लिए अभिशप्त है. यह अच्छी...
More »स्वच्छ भारत: 2 साल बाद भी बेहद बुरा है मोदी के इस प्रोजेक्ट का हाल, केवल 3.5 % टारगेट पूरा
राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जन्म दिवस पर स्वच्छ भारत मिशन के तहत केंद्र सरकार ने जिस अभियान को तेजी के साथ चलाया था वह मिशन अभी भी बहुत दूर है। इस अभियान के तहत 2019 के अंत तक भारत को खुले में शौच से मुक्त (open defecation-free) बनाने की बात कही गई थी। आकड़ों दिखाते हैं कि यह मिशन अभी भी दूर हैं, कुल 4, 041 शहरों मे से केवल...
More »