जाने-माने मानवाधिकार कार्यकर्ता और ईपीडब्ल्यू के सलाहकार संपादक गौतम नवलखा तथा स्वीडिश पत्रकार जॉन मिर्डल कुछ समय पहले भारत में माओवाद के प्रभाव वाले इलाकों में गए थे, जिसके दौरान उन्होंने भाकपा माओवादी के महासचिव गणपति से भी मुलाकात की थी. इस यात्रा से लौटने के बाद गौतम ने यह लंबा आलेख लिखा है, जिसमें वे न सिर्फ ऑपरेशन ग्रीन हंट के निहितार्थों की गहराई से पड़ताल करते हैं, बल्कि माओवादी...
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छत्तीसगढ़ में सेटेलाइट रखेगा चावल पर निगाह
रायपुरगरीबों को एक और दो रुपए किलो मिलने वाले चावल की निगरानी अब सेटेलाइट के जरिए की जाएगी। शिकायतें हैं कि सस्ता चावल लेकर गोदाम से ट्रक रवाना होते हैं, लेकिन बीच रास्ते में अनाज गायब हो जाता है। कई उपाय करने के बाद भी इसमें कमी नहीं आ रही है। खाद्य नागरिक आपूर्ति निगम (नान) चावल परिवहन करने वाले ट्रक और मेटाडोर में जीपीएस सिस्टम लगाने जा रहा है। प्रदेश में 36 लाख...
More »इन बंजारों की धरती कहां है -- शिरीष खरे
एक बार बीड़ जिले के पाथरड़ी तहसील में कहीं चोरी हुई. कई महीने बीते, मगर चोर का अतापता न चला. आष्टी तहसील से थोड़ी दूरी पर चीखली गाँव हैं. इसी गाँव के पास घूमते-फ़िरते रहवसिया नाम का पारधी परिवार आ ठहरा. बस फिर क्या था, पुलिस ने उसे ही इतनी दूर की वारदात में अंदर डाल दिया. जहाँ रहवसिया दो महीनों तक जेल में रहा, वहीं गाँव में ऊँची जाति...
More »बसेरा बनता गया, पेड़ उजड़ते रहे
जीएन भार्गव, ऐलनाबाद पेड़ों को नष्ट कर पर्यावरण के दुश्मन बने शहरी और ग्रामीण लोगों के साथ-साथ सरकारी अमला भी इसके लिए कम दोषी नहीं है। दो दशक पूर्व ग्रामीण क्षेत्रों के कुओं, तालाबों, जोहड़ों व गावों के चारों तरफ बनी घिरनी रास्ते पर पेड़ों के झुंड के झुंड बने दिखाई देते थे। इसी तरह शहर से निकलते ही शुरू हो जाता था, हरियाली का आलम। लोगों ने इन तालाबों, जोहड़ों पर...
More »भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ जाते हैं 19 खरब रुपये
नई दिल्ली। विश्व बैंक का कहना है कि विकासशील देशों में हर साल 40 अरब डालर [19 खरब रुपये] की रकम भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ जाती है। विश्व बैंक एक अधिकारी एवं चुराई गई संपत्ति की वसूली के लिए पहल [स्टार] के समन्वयक एड्रियन फोजार्ड ने बताया, 'विकासशील देशों में प्रत्येक साल 20-40 अरब डालर की रकम चुराई जाती है। पिछले 15 सालों में इनमें से मात्र 5 अरब...
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