SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 10137

खराब मानसून में छिपे डर - अनिल पद्मनाभन

इस साल मानसून का जो हाल है, वह बहुत डराने वाला है। इससे गुजरे छह हफ्ते से जो अनिश्चितता पैदा हुई है, वह एक बुरी आशंका की ओर इशारा कर रही है। कुदरत के संकेतों को समझते हुए कुछ यह दावा कर सकते हैं कि भारतीय मौसम विभाग की औसत मानसून की भविष्यवाणी सही साबित होगी। लेकिन क्या यही सच है? अभी तक मानसून का जो हाल है, वह...

More »

गुजरात: 'संघ' की शिक्षा सरकारी स्कूलों में

गुजरात सरकार उन किताबों को राज्य के सभी प्राइमरी और हाई स्कूलों में पढ़ाने जा रही है जिन्हें पिछले दो दशकों से संघ की शाखाओं में बाँटा जाता रहा है. अब तक ये किताबें 'विद्या भारती अखिल भारतीय शिक्षा संस्थान' के स्कूलों में भी पढ़ाई जा रही थीं लेकिन अब ये सरकारी स्कूलों में भी बांटी जाएंगी. इन पुस्तकों के लेखक आरएसएस के कार्यकर्ता दीनानाथ बत्रा हैं. ये वही दीनानाथ बत्रा हैं...

More »

घर जलने पर गैरबीपीएल को भी मिलेगा इंदिरा आवास

पटना: केंद्रीय ग्रामीण विकास राज्यमंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि राज्य का ग्रामीण विकास विभाग केंद्र से मिली राशि खर्च ही नहीं कर पा रहा है. देश में प्रधानमंत्री सड़क योजना का दूसरा चरण शुरू हो गया है. 50 हजार किमी सड़क इस फेज में बनेगा, लेकिन बिहार सरकार ने पहले फेज को भी पूरा नहीं किया है. ऐसे में राशि देने में केंद्र की विवशता बताते हुए उन्होंने कहा कि...

More »

खून के लिए आदिवासी कर रहे 100 किमी का सफर

मो. इस्राइल/ बिलासपुर(निप्र)। मरवाही, गौरेला, पेंड्रा, अमरकंटक समेत आसपास के आदिवासियों को बीमारी में खून की जरूरत होने पर 100 किलोमीटर का सफर कर सिम्स या फिर जिला अस्पताल आना पड़ रहा है। जबकि ब्लड स्टोरेज के लिए लाखों रुपए खर्च कर फ्रिजर आदि का इंतजाम किया गया है। स्वास्थ्य विभाग की उदासीनता के कारण गरीब खून के लिए भटक रहे हैं। जिले के तीन अनुसूचित जाति बाहुल्य विकासखंड मरवाही, गौरेला...

More »

किताबों की जगह हाथ में झाड़ू, बेटियों को करनी पड़ती है सफाई

सीकर. शिक्षा विभाग की डाइस डाटा रिपोर्ट में सरकारी शिक्षा के चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं। रिपोर्ट के अनुसार, प्रदेश में पहली कक्षा में दाखिला लेने वाले 100 स्टूडेंट्स में से केवल 27 ही 12वीं की पढ़ाई पूरी कर पा रहे हैं। बाकी 73 स्टूडेंट्स बीच में पढ़ाई छोड़ देते हैं। इसके पीछे बड़ी वजह है सीनियर सैकंडरी स्कूलों और शिक्षकों की कमी। राजस्थान में पहली से पांचवीं कक्षा...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close