पटना। मुख्य सचिव अनूप मुखर्जी ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे योजनाओं की प्राथमिकता तय करें और कालबद्ध तरीके से इन्हें निपटाते हुए विकास की गति को बढ़ाएं। बचे हुए टास्क को छह माह के भीतर पूरा करें। विकास कार्यो में प्रभावकारी भूमिका अपनाएं। बुधवार को सचिवालय में मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों, प्रमंडलीय आयुक्तों व विभागीय सचिवों के साथ मैराथन बैठक की। आठ-नौ घंटे चली बैठक में विभागवार...
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कृषि उपनिदेशक के चेहरे पर पोती कालिख
संबलपुर, जागरण संवाददाता : सोमवार को पूर्वाह्न गंगाधर मंडप के समक्ष अंचल के किसानों की खुदकुशी पर उलजुलूल बयानबाजी करने और मामले की जांच पड़ताल में विलंब करने के आरोप में भाजपा कार्यकर्ताओं ने कृषि उपनिदेशक के चेहरे पर कालिख पोत कर उन्हे पैदल चलाते हुए जिलाधीश कार्यालय तक ले गये। इस घटना की सूचना मिलते ही संबलपुर जिलाधीश और उत्तरांचल राजस्व आयुक्त अपने दफ्तर से नदारद हो गए। ऐसे...
More »नर्मदा की गोद से बेदखल
एक नजर में *गुजरात, मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र की सरकारें बांध की ऊंचाई बढ़ाना चाहती हैं मगर सर्वोच्च न्यायालय का कहना है कि पहले हर विस्थापित का पुनर्वास हो *बांध ने कुल करीब दो लाख लोगों को प्रभावित किया जिनमें से आधे से ज्यादा आज भी बेघरबार हैं *मध्य प्रदेश सरकार का कहना है कि उसके पास विस्थापितों को देने के लिए जमीन नहीं फिर भी वो सबके पुनर्वास का दावा कर...
More »भ्रष्टाचार
खास बात • ट्रांसपेरेन्सी इंटरनेशनल के करप्शन परसेप्शन इंडेक्स(साल २०14) में भारत १७5 देशों के बीच ८५ वें पादान पर रखा गया था। साल 2010 के इंडेक्स में भारत फिसलकर 87 वें स्थान पर जा पहुंचा था।* • साल २००६-०७ में गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले परिवारों ने ८८३ करोड़ रुपये बुनियादी सेवाओं को हासिल करने के लिए घूस में चुकाये।** • साल २००६-०७ में भारत के सबसे गरीब...
More »वनाधिकार
साल २००६ के १३ दिसंबर को लोकसभा ने ध्वनि मत से अनुसूचित जाति एवम् अन्य परंपरागत वनवासी(वनाधिकार की मान्यता) विधेयक(२००५) को पारित किया। इसका उद्देश्य वनसंपदा और वनभूमि पर अनुसूचित जाति तथा अन्य परंपरागत वनवासियों को अधिकार देना है। यह विधेयक साल २००५ में भी संसद में पेश किया गया था, फिर इसमें कई महत्वपूर्ण बदलाव किए गए जिसमें अनुसूचित जनजाति के साथ-साथ अन्य पंरपरागत वनवासी समुदायों को भी इस...
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