गुवाहाटी। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री गुलाम नबी आजाद ने इलेक्ट्रानिक मीडिया की खिंचाई करते हुए शनिवार को कहा कि वे घटनाओं को बढ़ा चढ़ाकर पेश करते हैं और सरकार की विकासपरक गतिविधियों को कोई प्राथमिकता नहीं देते हैं। आजाद ने कहा, 'बीस साल पहले हमारे पास केवल एक इलेक्ट्रानिक चैनल था- दूरदर्शन। आज हमारे पास 100 चैनल हैं। इस चीज से कोई भी चैनल बचा नहीं है और जहां भी...
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नक्सल प्रभावित इलाकों के लिए 3400 करोड़
नई दिल्ली। योजना आयोग नक्सल प्रभावित 34 जिलों में बिजली, पेय जल और सड़क जैसे बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 3,400 करोड़ रुपये की योजना को जल्द अंतिम रूप दे सकता है। प्रधान मंत्री मनमोहन सिंह के निर्देश के बाद नक्सल प्रभावित जिलों के लिए एकीकृत कार्य योजना तैयार की जा रही है। एक उच्च पदस्थ सूत्र ने बताया कि योजना को अगले सप्ताह अंतिम रूप दिया जा...
More »विद्रोह के केंद्र में दिन और रातें
जाने-माने मानवाधिकार कार्यकर्ता और ईपीडब्ल्यू के सलाहकार संपादक गौतम नवलखा तथा स्वीडिश पत्रकार जॉन मिर्डल कुछ समय पहले भारत में माओवाद के प्रभाव वाले इलाकों में गए थे, जिसके दौरान उन्होंने भाकपा माओवादी के महासचिव गणपति से भी मुलाकात की थी. इस यात्रा से लौटने के बाद गौतम ने यह लंबा आलेख लिखा है, जिसमें वे न सिर्फ ऑपरेशन ग्रीन हंट के निहितार्थों की गहराई से पड़ताल करते हैं, बल्कि माओवादी...
More »जहर का कारोबार- वंदना शिवा
भोपाल गैस त्रासदी मनुष्य जाति के इतिहास का भयावहतम औद्योगिक हादसा था, लेकिन इसके शिकार हुए लोगों के साथ हुआ अन्याय भी किसी त्रासदी से कम नहीं है। यूनियन कार्बाइड में ‘काराबिल’ नामक कीटनाशक बनाया जाता था, जिसका इस्तेमाल मुख्यत: कपास की खेती में होता है। गैस त्रासदी के बाद ही मैंने निश्चय किया था कि मैं जैविक खेती को बढ़ावा देने की कोशिश करूंगी और यही विचार ‘नवधान्य’ की...
More »खबरों का ग्रीनहंट! : अरुंधति राय
भारत सरकार एक ओर जब देश के गांवों में सेना और वायुसेना तैनात कर लोगों के संघर्ष को दबाने पर विचार कर रही है तो दूसरी ओर शहरों में कुछ विचित्र घटनाएं देखने में आ रही हैं। बीते 2 जून को मैंने मुंबई में कमेटी फॉर प्रोटेक्शन ऑफ डेमोक्रेटिक राइट्स (सीपीडीआर) द्वारा आयोजित एक जनसभा को संबोधित किया। अगले दिन तमाम अखबारों और टीवी चैनलों पर इसकी सही कवरेज हुई। इसी दिन...
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