जनसत्ता 2 फरवरी, 2012 : हाल के वैश्विक संकट ने विश्व-स्तर पर लोगों को नए सिरे से आर्थिक नीतियों के बारे में सोचने के लिए प्रेरित किया है। अब आम लोग और विशेषज्ञ दोनों निजीकरण, बाजारीकरण और भूमंडलीकरण पर आधारित मॉडल की प्रासंगिकता पर सवाल उठा रहे हैं। आम लोगों की बेचैनी की अभिव्यक्ति सबसे प्रबल रूप में आक्युपाइ द वॉल स्ट्रीट आंदोलन के रूप में हुई है। दूसरी ओर, इस बार...
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सभी लड़कियों को मुफ्त शिक्षा
रांची : राज्य सरकार अब सभी बालिकाओं को मुफ्त शिक्षा देगी. सरकार ने स्थापना अनुमति (प्रस्वीकृति) प्राप्त विद्यालयों व महाविद्यालयों में पढ़नेवाली छात्राओं को भी 10 वीं और 12 वीं की मुफ्त शिक्षा देने का फैसला किया है. इनको परीक्षा शुल्क नहीं देना होगा. इससे राज्य की 63 हजार से अधिक बालिकाओं को लाभ मिलेगा. शिक्षा विभाग के इस प्रस्ताव को विधि और वित्त विभाग की भी मंजूरी मिल चुकी है....
More »प्री-नर्सरी में दाखिले के फैसले का सरकार ने किया बचाव
नई दिल्ली. दिल्ली सरकार ने दिल्ली हाईकोर्ट से कहा है कि संविधान और शिक्षा के अधिकार कानून में छह वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए प्री नर्सरी कक्षाओं में दाखिले पर किसी तरह की पाबंद नहीं लगाई गई है। सरकार की ओर से एक हलफनामा दायर करते हुए कहा गया कि स्कूल सरकारी दिशा-निर्देश का पालन करते हुए प्री नर्सरी कक्षाएं चला सकते हैं। अब शुक्रवार को न्यायालय में नर्सरी दाखिला...
More »सभी लड़कियों को मुफ्त शिक्षा
रांची : राज्य सरकार अब सभी बालिकाओं को मुफ्त शिक्षा देगी. सरकार ने स्थापना अनुमति (प्रस्वीकृति) प्राप्त विद्यालयों व महाविद्यालयों में पढ़नेवाली छात्राओं को भी 10 वीं और 12 वीं की मुफ्त शिक्षा देने का फैसला किया है. इनको परीक्षा शुल्क नहीं देना होगा. इससे राज्य की 63 हजार से अधिक बालिकाओं को लाभ मिलेगा. शिक्षा विभाग के इस प्रस्ताव को विधि और वित्त विभाग की भी मंजूरी मिल चुकी है....
More »सरकारी में है इतनी अधिक सुविधाएं, फिर भी प्राइवेट की है चांदी : हरी कुमार।
भोपाल। वर्तमान समय में भारतीय अभिभावकों की यह मानसिकता बन चुकी है कि पढ़ाई तो सिर्फ निजी स्कूलों में ही होती है, सरकारी स्कूल में बच्चों को भेजना, जैसे समय बर्बादी हो। इस मानसिकता का असर यह हो रहा है कि सरकारी स्कूलों में दाखिले के लिए सरकार द्वारा आजमाए जा रहे तमाम उपाय फेल हो रहे हैं। चाहे गरीब हों या अमीर, सभी अपने बच्चों को निजी स्कूलों में ही भेजना चाहते...
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