-डाउन टू अर्थ, पावर फाइनेंस कॉर्पोरेशन, दिल्ली और नर्मदा बेसिन प्रोजेक्टस कम्पनी लिमिटेड के बीच हुए अनुबंध के बाद 99 गांवों के लगभग 55 हजार लोगों पर विस्थापन का खतरा बढ़ गया है। इनमें लगभग 50 गांव आदिवासियों के हैं, जहां लगभग 30 हजार आदिवासी रह रहे हैं। दरअसल, पिछले दिनों पावर फाइनेंस कॉर्पोरेशन, दिल्ली और नर्मदा बेसिन प्रोजेक्टस कम्पनी लिमिटेड, मध्यप्रदेश के बीच 22 हजार करोड़ का अनुबंध हुआ है। इसमें...
More »SEARCH RESULT
देश के किसान सही कीमत के लिए लड़ाई रहे रहे हैं और सरकार कम कीमत पर दूसरे देशों से मक्का आयात कर रही
-गांव कनेक्शन, देश के कई राज्यों में मक्का किसान सही कीमत के लिए आंदोलन कर रहे हैं, तो वहीं दूसरी ओर से केंद्र सरकार ने दूसरे देश से सस्सी दरों में पर मक्का आयात करने का फैसला लिया है। इस फैसले के बाद देश की मंडियों में मक्के कीमत और गिर गई है। आने वाले समय में ये गिरावट और बढ़ सकती है। भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के राजस्व विभाग...
More »मोदी सरकार की मज़दूर विरोधी नीतियों के ख़िलाफ़ देशभर में प्रदर्शन
-मीडियाविजिल, केंद्र और राज्य की सरकारों द्वारा कोरोना काल में श्रम कानूनों में किये जा रहे बदलाव और श्रमिकों के अधिकारों को निरस्त करने की प्रक्रिया पर तत्काल रोक लगाने की मांग को लेकर मजदूर संघठनों ने देशभर में विरोध प्रदर्शन किया। मजदूर संगठनों ने इस विरोध प्रदर्शन के जरिये कई सरकारों द्वारा काम के घंटे 8 से 12 करने का विरोध किया। मजदूर संगठनों ने रेलवे और कोल इंडिया समेत...
More »कोविड-19 : 70 रुपए की दवा मिल रही 40 हजार में, मजबूरों को लूट रहीं सरकार और फार्मा कंपनी?
-कारवां, जिस तेजी के साथ कोरोनावायरस महामारी देश के कोने-कोने फैलती जा रही है उसे देखते हुए कह सकते हैं कि अगले कुछ हफ्तों में भारत को गंभीर स्थिति का सामना करना पड़ सकता है. अप्रैल और मई में नरेन्द्र मोदी सरकार की परीक्षण पर प्रतिबंधित की नीति ने महामारी को बढ़ा दिया है और जुलाई आते-आते देश के अस्पतालों को इसका सबसे बुरा प्रकोप झेलना पड़ रहा है. जून में कोरोनोवायरस...
More »मनरेगा, जरूरी या मजबूरी-1: 85 फीसदी बढ़ गई काम की मांग
-डाउन टू अर्थ, 14 साल पुरानी महात्मा गांधी ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) योजना एक बार फिर चर्चा में है। लगभग हर राज्य में मनरेगा के प्रति ग्रामीणों के साथ-साथ सरकारों का रूझान बढ़ा है। लेकिन क्या यह साबित करता है कि मनरेगा ग्रामीण अर्थव्यवस्था की रीढ़ की हड्डी है या अभी इसमें काफी खामियां हैं। डाउन टू अर्थ ने इसकी व्यापक पड़ताल की है, जिसे एक सीरीज के तौर पर...
More »