-न्यूजलॉन्ड्री, कुपोषण भारत की गम्भीरतम समस्याओं में एक है फिर भी इस समस्या पर सबसे कम ध्यान दिया गया है. आज भारत में दुनिया के सबसे अधिक अविकसित (4.66 करोड़) और कमजोर (2.55 करोड़) बच्चे मौजूद हैं. इसकी वजह से देश पर बीमारियों का बोझ बहुत ज्यादा है, हालांकि राष्ट्रीय परिवारिक स्वास्थ्य सर्वेक्षण-4 के आंकड़े बताते है कि देश में कुपोषण की दर घटी है लेकिन न्यूनतम आमदनी वर्ग वाले परिवारों...
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युवाओं की बेरोजगारी के मामले में सबसे अमीर केरल और सबसे गरीब बिहार एक जैसे
-द प्रिंट, आगामी दशक में भारत अपनी आर्थिक संभावनाओं को कितना पूरा करेगा यह इस बात से तय होगा कि आज के युवाओं को कैसी शिक्षा मिलती है, वे क्या हुनर हासिल करते हैं, और आर्थिक अवसरों तक उनकी कितनी पहुंच होती है. पिछले सप्ताह के लेख में हमने यह देखा कि भारत में 20-29 आयुवर्ग की महिलाओं के जीवन की दिशा इतने वर्षों में किस तरह बदली है. अब इस लेख में...
More »डब्ल्यूटीओ का खाद्यान्नों की सरकारी खरीद को उत्पादन के 15 फीसदी तक सीमित करने का प्रस्ताव
-गांव सवेरा, नवंबर के अंत में विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) की कृषि पर समझौते (एओए) को लेकर 12वीं मंत्रीस्तरीय सम्मेलन (एमसी 12) बैठक होने वाली है। एमसी12 के एजेंडा के दो प्रस्ताव देश के किसानों के घातक साबित हो सकते हैं। इसके एक एजेंडा प्रस्ताव में कहा गया है कि गरीबों के लिए सब्सिडी पर खाद्यान्न मुहैया कराने के लिए और कम संसाधनों वाले किसानों की आजीविका सुरक्षा के लिए बनाये जाने...
More »खेती के संबंध में कुछ बड़ी भ्रांतियां और किसान आंदोलन पर उनका प्रभाव
-न्यूजक्लिक, भारतीय खेती के संबंध में अनेक भ्रांतियां हैं, जिन्हें अगर फौरन दूर नहीं किया जाता है तो उनका, तीन कृषि कानूनों के खिलाफ इस समय चल रहे किसान आंदोलन पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है। इनमें पहली भ्रांति तो इस धारणा में ही है कि किसानी खेती पर कार्पोरेट अतिक्रमण तो ऐसा मामला है जो बस कार्पोरेट अतिक्रमणकारियों और किसानों से ही संबंध रखता है। यह गलत है। किसानी खेती...
More »कॉप-26: सौ महीने से कम समय बाकी, इन वजहों से हो सकती है नतीजे मिलने में दिक्कत
-डाउन टू अर्थ, जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क कन्वेंशन (कॉप-26) के तहत 31 अक्टूबर से 12 नवंबर के बीच चलने वाला 26वां संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन अपनी निर्धारित समय-सीमा से एक दिन आगे तक चला। वैश्विक जलवायु संकट से निपटने को अपने प्रयासों मे तेजी लाने के लिए अंततः इसमें ग्लासगो जलवायु समझौता (जीसीपी ) पर सहमति बनी। अंतिम सत्र में 197 देशों द्वारा तैयार जीसीपी में जिन सिद्धांतों का...
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