द प्रिंट, भारतीय रेलवे के एक अधिकारी ने कहा है कि 12 निजी रेलगाड़ियों की पहला बैज 2023 परिचालन शुरू कर देगा, जिसके बाद अगले वित्त वर्ष में ऐसी 45 रेलगाड़ियां शुरू होंगी. उन्होंने कहा कि ऐसी सभी 151 रेलगाड़ियां अपने पूर्वनिर्धारित कार्यक्रम के अनुसार 2027 तक शुरू हो जाएंगी. रेलवे ने अपने नेटवर्क पर निजी कंपनियों की यात्री रेलगाड़ियों के परिचालन की अनुमति देने की अपनी योजना को औपचारिक रूप से आगे...
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बिहार बाढ़: 8 जिलों के 2 लाख 88 हजार लोग बाढ़ से प्रभावित
-वाटर पोर्टल, कमोबेश हर साल बिहार में तबाही मचाने वाली बाढ़ इस साल भी दस्तक दे चुकी है। अब तक बिहार के 8 जिलों; सीतामढ़ी, शिवहर, सुपौल, किशनगंज, दरभंगा, मुजफ्फरपुर. गोपालगंज और पूर्वी चम्पारण के 30 ब्लॉक की 150 पंचायतों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है। बिहार के आपदा प्रबंधन विभाग के एक अधिकारी ने कहा, “अब तक के आकलन के मुताबिक 2 लाख 88 हजार लोग बाढ़ से प्रभावित हुए...
More »‘आत्मनिर्भर भारत’: सरकार द्वारा जनता की जिम्मेदारियों से मुंह मोड़ने का बहाना?
-न्यूजलॉन्ड्री, कोरोना महामारी के लगातार बढ़ते प्रभाव के कारण एक ओर देश की सामाजिक आर्थिक एवं शैक्षिक स्थिति बद से बदतर बनती जा रही है तो दूसरी तरफ केंद्र सरकार ने आत्मनिर्भरता की घोषणा के द्वारा जनता के प्रति कई जवाबदेहियों से अपने को मुक्त कर लिया है जिसके चलते सभी क्षेत्रों में घोर निराशा का वातावरण छाया हुआ है. आर्थिक मोर्चे पर गरीबी रेखा के नीचे जीवनयापन करने वाले तथा...
More »मोदी सरकार की मज़दूर विरोधी नीतियों के ख़िलाफ़ देशभर में प्रदर्शन
-मीडियाविजिल, केंद्र और राज्य की सरकारों द्वारा कोरोना काल में श्रम कानूनों में किये जा रहे बदलाव और श्रमिकों के अधिकारों को निरस्त करने की प्रक्रिया पर तत्काल रोक लगाने की मांग को लेकर मजदूर संघठनों ने देशभर में विरोध प्रदर्शन किया। मजदूर संगठनों ने इस विरोध प्रदर्शन के जरिये कई सरकारों द्वारा काम के घंटे 8 से 12 करने का विरोध किया। मजदूर संगठनों ने रेलवे और कोल इंडिया समेत...
More »फैक्ट चैक : कोरोनावायरस लॉकडाउन में मोदी सरकार के दस बड़े झूठ
-कारवां, 24 मार्च को जब केंद्र सरकार ने नोवेल कोरोनावायरस के प्रसार को रोकने के लिए राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की तो सरकार के प्रतिनिधियों और मंत्रियों ने अपनी राजनीति को सही ठहराने और आलोचना से पल्ला छुड़ाने के लिए जनता के बीच लगातार आधी-अधूरी और झूठी बातें प्रचारित की. अधिकारियों ने जो दावे किए उनमें से कई जमीनी रिपोर्टों से मेल नहीं खाते. देश के कई हिस्सों में भूख और भुखमरी...
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