औरतों के नाम एक दिन की रिवायत हर साल मज़बूत होती जा रही है। कभी स्कूल-कॉलेज के दिनों में यह दिन सिर्फ एक तारीख भर था जिसे रट लेना होता था आधे-एक नंबर की गारंटी की खातिर! फिर बात आगे बढ़ी, कुछ खेल-तमाशे जुड़ने लगे। लिपस्टिक-बिंदी पर छूट, पार्लरों में आफर, ड्रैस पर पेशकश और साड़ी के साथ कुछ इनाम... खर्रामा-खर्रामा महिला दिवस मनाने का चलन बढ़ता रहा। और इसी...
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1.63 लाख नियोजित शिक्षकों का अब अटक जायेगा वेतन
परेशानी. 18 जिलों के डीपीओ के बैंक एकाउंट हुए लॉक पटना : राज्य के प्रारंभिक स्कूलों के 3.23 लाख में से करीब आधे 1.63 लाख नियोजित शिक्षकों को सरकार की ओर से राशि जारी करने के बाद भी वेतन नहीं मिल सकेगा. प्रारंभिक स्कूलों के 1.63 लाख नियोजित शिक्षक वैसे 18 जिलों से हैं जहां तक उनकी सैलरी का उपयोगिता प्रमाण पत्र अब तक नहीं आया है. शिक्षा विभाग ने संबंधित...
More »आधी अधूरी खाद्य व्यवस्था-- जाहिद खान
तत्कालीन यूपीए सरकार जब साल 2013 में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक लेकर आई, तो यह उम्मीद बंधी थी कि इस विधेयक के अमल में आ -जाने के बाद देश की 63.5 फीसद आबादी को कानूनी तौर पर तय सस्ती दर से अनाज का हक हासिल हो जाएगा। अफसोस, इस कानून को बने तीन साल हो गए, मगर यह आज भी पूरे देश में अमल में नहीं आ पाया है। नौ...
More »बेजुबानों की जबान बनती जवाबदेही यात्रा !
क्या कभी आपकी भेंट ऐसे जिला शिक्षा अधिकारी से हुई है जिससे भरी महफिल में किसी ग्रामीण ने शिक्षा के अधिकार के हवाले से पूछा हो, बताओ ऐसे कितने स्कूल हैं जहां शौचालय ठीक-ठाक बने और काम कर रहें हैं ? क्या आपने जिला शिक्षा अधिकारी को आंकड़ों की ओट में तथ्य छुपाते और इस तथ्य-छुपाई पर उसी महफिल में एक से ज्यादा ग्रामीणों के मुंह से टोके और दुरुस्त किए...
More »अहम साल रहा 2015, घातक पर्यावरणीय बदलावों के लिहाज से
बीता वर्ष 2015 अब तक का सबसे गर्म साल रहा है. हालांकि, पिछले करीब एक दशक में कई वर्ष ऐसे रहे हैं, जो उस समय तक सबसे गर्म साल के रूप में आंके गये, लेकिन वर्ष 2015 को इसलिए भी अहम माना जा रहा है, क्योंकि क्लाइमेट चेंज के लिहाज से विशेषज्ञों ने इसे 'टिपिंग प्वाइंट' करार दिया है. क्या इंगित करता है यह टिपिंग प्वाइंट, क्यों जतायी जा रही...
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