सोलहवें लोकसभा चुनाव की घोषणा के पूर्व अब तक के जो राजनीतिक दृश्य हैं, उनमें किसी कोने से भी यह मालूम नहीं होता कि राजनीति को गंभीरता से देखा-समझा जा रहा है. बड़ा और महत्वपूर्ण सवाल यह है कि राजनीति से जुड़े लोग (नेता सहित) राजनीति को किन अर्थो-मूल्यों से जोड़ रहे हैं? क्यों कोई दल चुनाव में अपने प्रत्याशियों को खड़ा करता है? किसी भी अन्य राजनीतिक दल से कोई...
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भारत की खेतिहर आबादी में सबसे तेज गति से इजाफा- नई रिपोर्ट
बीते तीन दशक में भारत की खेतिहर आबादी दुनिया के दूसरे देशों के मुकाबले सबसे तेज गति से बढ़ी है। वर्ल्डवाच इंस्टीट्यूट के एक नये अध्ययन के अनुसार साल 1980 से 2011 के बीच भारत में खेतिहर आबादी में 50 फीसदी और चीन में 33 फीसदी की बढोतरी हुई है जबकि अमेरिका की खेतिहर आबादी में इसी अवधि में 37 फीसदी की कमी आई है। (कृपया देखें नीचे दी गई...
More »चीन के बाजारों में भारत की ब्लैक टी की धूम
बीजिंग : भारत का कट्टर दुश्मन माना जानेवाला चीन यहां की अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचाने के लिए सस्ता सामान बना कर बाजार को लगातार कमजोर करता आ रहा है. भारत ने भी अब नहले पे दहला मारने जैसा चीन के बाजार में भारतीय वस्तुओं की पैठ बनाना शुरू कर दिया है. पहले भारत के उद्यमियों ने चीन में कारखाना खोल कर वहां की श्रमशक्ति का इस्तेमाल कर भारत को सस्ता माल देने का...
More »युवा बेरोजगारी भारत के लिए संकट- रविदत्त वाजपेयी
यह एक सुखद आश्चर्य है कि शताब्दियों का इतिहास संजोये रखने के बाद, आज भी भारत को एक युवा देश माना जाता है. सबसे विस्मयकारी तथ्य यह है कि इस सौभाग्य का श्रेय भारत की उस प्रचुर जनसंख्या को दिया जाता है जिसके विशाल आकार को लंबे समय से भारत की सबसे बड़ी समस्या बताया गया था. आखिरकार भारत की इतनी बड़ी आबादी जनसंख्या आपदा से जनसंख्या संपदा में कैसे...
More »अगले वित्त वर्ष में 9.5 लाख टन नेचुरल रबड़ उत्पादन का लक्ष्य
भारत ने वित्त वर्ष 2014-15 में 9.5 लाख टन नेचुरल रबड़ उत्पादन का लक्ष्य तय किया है। रबड़ बोर्ड की चेयरपर्सन शीला थॉमस ने बुधवार को बताया कि चालू वित्त वर्ष में अब तक देश में कुल 8.5 लाख टन नेचुरल रबड़ का उत्पादन हो चुका है। थॉमस ने कहा कि हमारा अनुमान है कि 31 मार्च 2014 को समाप्त होने वाले वित्त वर्ष तक देश में नेचुरल रबड़ का उत्पादन बढ़कर नौ...
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