कुछ महीने पहले इंटेलिजेंस ब्यूरो द्वारा दी गयी रपट के अनुसार, भारत के विकास में कुछ विदेशी धन से पोषित एनजीओ बाधा बन रहे हैं. एनजीओ द्वारा प्राप्त धन का दुरुपयोग रोकने के लिए सरकार ने हाल में आदेश दिया है कि इनके द्वारा 20,000 से अधिक का भुगतान चेक द्वारा ही किया जायेगा. ऐसा करने से एनजीओ के लिए धन का गैरकानूनी उपयोग करना कठिन हो जायेगा. तमाम देशों में...
More »SEARCH RESULT
विकास के मौजूदा मॉडल के विनाशकारी पहलू- सच्चिदानंद सिन्हा
आज जलवायु परिवर्तन पूरी दुनिया के लिए चिंता का विषय है. मौसम का चक्र बदल रहा है. कभी बिन मौसम भारी बरसात, तो कभी बारिश के मौसम में सूखा. कभी असमय भारी बर्फबारी, तो कभी धुंध. धरती गर्म हो रही है. ग्लेशियर पिघल रहे हैं. जलस्तर बढ़ने के कारण समुद्र से घिरे द्वीपीय इलाकों के डूबने का खतरा पैदा हो रहा है. इनके सबकी वजह है बढ़ता प्रदूषण और पर्यावरण का...
More »राहत सामग्री के लिए दर-दर भटक रहे बाढ़ पीड़ित
रीनगर : बाढ़ प्रभावित कश्मीर में राहत सामग्री के लिए लोगों को दर-दर भटकना पड़ रहा है. बताया जा रहा ळै कि वितरण में अव्यवस्था के कारण भीषण प्राकृतिक आपदा से परेशान लोग राहत सामग्री हासिल करने के लिए दर-दर भटक रहे हैं, लेकिन उन्हें कहीं कुछ नहीं मिल पा रहा है. विभिन्न राहत शिविरों में अधिकारी बाढ़ पीड़ितों को खाद्य सामग्री लेने के लिए नजदीकी थाने में भेज रहे हैं...
More »कालिख के सौदे पर कड़ा प्रहार - परंजॉय गुहा ठाकुरता
भारत के प्रधान न्यायाधीश जस्टिस राजेंद्रमल लोढ़ा ने 25 अगस्त को कोयला खदान घोटाले के संबंध में फैसला सुनाते हुए जिस तरह के कठोर शब्दों का उपयोग किया, उसके बाद अगर वर्ष 1993 के बाद से आवंटित सभी 218 खदानों में से अधिकतर को जल्द ही निरस्त कर दिया जाता है तो किसी को हैरत नहीं होनी चाहिए। इससे भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए बेहद महत्वपूर्ण निर्माण क्षेत्र को जरूर कुछ...
More »मध्यप्रदेश के इंदौर में अमीरों के 'गुलाम' बन रहे गरीब बच्चे
सुमेधा पुराणिक चौरसिया, इंदौर। अमीर परिवार के लोग अपने बच्चों की परवरिश के लिए गरीबों के बच्चों का बचपन छीन रहे हैं। इंदौर में दूसरे प्रदेशों से बच्चों को खरीदकर नौकर बनाने का चलन भी लगातार बढ़ता जा रहा है। सालभर में 10 से ज्यादा मासूम बाल श्रमिकों के मामले उजागर हुए, जिन्हें बड़े परिवारों ने घरेलू नौकर बना दिया। अब श्रम विभाग ने एनजीओ और महिला बाल विकास विभाग...
More »