संयुक्त राष्ट्र समाचार, 18 अक्टूबर संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) की सोमवार को प्रकाशित एक नवीन रिपोर्ट के अनुसार, विश्व भर में खेती-बाड़ी में इस्तेमाल होने वाली प्लास्टिक, कृषि-भूमि में ख़तरनाक ढँग से जमा हो रही है, जोकि चिन्ताजनक है. कृषि कार्यों में प्लास्टिक का उपयोग बड़े पैमाने पर किया जाता है. प्लास्टिक से लेपे गए बीजों से लेकर मिट्टी के तापमान में बदलाव लाने और फ़सलों पर जंगली घास उगने की रोकथाम...
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पर्यावरण नियमों के उल्लंघन के लिए एनजीटी ने राजस्थान सरकार पर 3,000 करोड़ का जुर्माना लगाया
द वायर, 18 सितम्बर राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) ने राजस्थान सरकार को ठोस और तरल कचरे के अनुचित प्रबंधन के लिए पर्यावरण संबंधी मुआवजे के रूप में 3,000 करोड़ रुपये का भुगतान करने का निर्देश दिया है. एनजीटी अध्यक्ष जस्टिस आदर्श कुमार गोयल की अध्यक्षता वाली पीठ ने प्रदूषण में योगदान और अपने संवैधानिक कर्तव्यों के निर्वहन में नाकाम रहने के लिए राज्य के अधिकारियों को जवाबदेह ठहराया है. पीठ में जस्टिस सुधीर...
More »कोविड: दूसरी लहर में सरकार ने समय पर कार्रवाई की होती तो कई जानें बच सकती थीं- संसदीय समिति
द वायर, 15 सितम्बर कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर के दौरान यदि रोकथाम रणनीतियों को समय पर लागू किया जाता तो अनेक लोगों की जान बचाई जा सकती थी. स्वास्थ्य मामलों से संबंधित एक संसदीय समिति ने अपनी रिपोर्ट में यह बात कही. इसके साथ ही समिति ने हालात की गंभीरता का अंदाजा नहीं लगा पाने के लिए सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि पहली लहर के बाद जब देश में...
More »खबरदार
खास बात • गंगोत्री ग्लेशियर सालाना ३० मीटर की गति से सिकुड़ रहा है।* • अगर समुद्रतल की ऊंचाई एक मीटर बढ़ती है तो भारत में ७० लाख लोग विस्थापित होंगे।* • पिछले बीस सालों में ग्रीनहाऊस गैसों के उत्सर्जन में सर्वाधिक बढ़ोत्तरी जिवाश्म ईंधन के दहन से हुई है।* • मानवीय क्रियाकलापों के कारण ग्लोबल ग्रीन हाऊस गैस के उत्सर्जन में लगातार बढोत्तरी हो रही है। अगर औद्योगीकरण के पहले के समय से तुलना करें तो मानवीय क्रियाकलापों...
More »सिलिकोसिस: पत्थर कटाई करने वाले मज़दूर जीते जी नर्क में रहने के लिए मजबूर क्यों हैं
-द वायर, अगर आप गूगल पर सिलिकोसिस शब्द खोजेंगे तो आपको यह जवाब मिलेगा, ‘सिलिका युक्त धूल में लगातार सांस लेने से फेफड़ों में होने वाली बीमारी को सिलिकोसिस कहा जाता है. इसमें मरीज के फेफड़े खराब हो जाते हैं. पीड़ित व्यक्ति की सांस फूलने लगती है. इलाज न मिलने पर मरीज की मौत हो जाती है.’ लेकिन, हकीकत यह है कि सिलिकोसिस लाइलाज बीमारी है. एक बार सिलिकोसिस होने के बाद...
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