नई दिल्ली: सोचिए. अगर भारत में गरीब न होते तो क्या होता? कुछ होता या न होता लेकिन इतना तो तय था कि हमारी राजनीति काफी नीरस हो जाती. ये गरीब ही हैं, जिनकी वजह से भारत की राजनीति इतनी दिलचस्प बनी हुई है. चाहे वो इंदिरा गांधी का गरीबी हटाओ का नारा हो या मनमोहन सिंह का मनरेगा हो या फिर नरेंद्र मोदी द्वारा शुरु की गई प्रधानमंत्री गरीब कल्याण...
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बुनियादी आय गारंटी योजना-- आकार पटेल
छोटे किसानों को प्रतिवर्ष 6,000 रुपये नकद देने की योजना की सरकारी घोषणा एक शानदार कदम माना जा रहा है, जिससे चुनाव में राजनीतिक लाभ प्राप्त किया जा सकता है. बजट में घोषित इस योजना के पहले दो बातें हुई हैं. पहली वह रिपोर्ट, जिसे सरकार ने दबा दिया है, जो कहती है कि बेराजगारी दर 45 वर्षों में सर्वाधिक है. दूसरी यह कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी न्यूनतम...
More »‘आरक्षण गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम नहीं, नया विधेयक संविधान का उल्लंघन है’
नई दिल्ली: भारत सरकार के पूर्व सचिव पीएस कृष्णन सामाजिक न्याय के कई ऐतिहासिक कानूनों को लागू करने के पीछे महत्वपूर्ण लोगों में से एक थे. मोदी सरकार द्वारा नौकरियों और शिक्षा में आर्थिक रूप से कमजोर सवर्णों को आरक्षण देने को लेकर उन्होंने कहा कि यह विधेयक संविधान का उल्लंघन है और ये न्यायिक जांच का सामना नहीं कर सकता है. द वायर से बात करते हुए, कृष्णन ने कहा...
More »आश्रय गृहों का हाल खराब
पिछले दिनों राष्ट्रीय महिला आयोग की तीन सदस्यीय जांच टीम ने चार राज्यों के 26 महिला आश्रय गृहों का दौरा किया, जिनमें से 25 में अनियमितता पायी गयी. ये चार राज्य थे- उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, कर्नाटक और ओड़िशा. ज्ञात हो कि इन आश्रय गृहों में वे महिलाएं होती हैं, जो यौन हिंसा के शिकार हों या छोड़ दी गयीं या अन्य प्रकार की पीड़िता. महिलाओं की बदतर स्थिति तथा...
More ».....ताकि चुनाव-चर्चा के बीच आप भुखमरी से हो रही मौतों को ना भूल जायें !
झारखंड में बीते 30 दिनों में कम से कम दो जन भुखमरी के कारण मौत की चपेट में आये हैं. भोजन का अधिकार अभियान ने यह जानकारी एक तथ्यान्वेषी दल की रिपोर्ट के आधार पर दी है. रिपोर्ट में राज्य के दुमका जिले में जामा प्रखंड के महुआटांड गांव के कलेश्वर सोरेन और देवघर जिले में मार्गोमंडा प्रखंड के मोती यादव की मौत के पीछे भुखमरी को एक कारण के...
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