कोलकाता : बंगाल की खाड़ी से उठे चक्रवाती तूफान हुदहुद ने ओडि़शा व आंध्र प्रदेश के तटीय इलाकों में खतरे की घंटी बजा दी है. बंगाल की खाड़ी में अंडमान व निकोबार के पास बने चक्रवाती तूफान के खतरे को देखते हुए इन दो राज्यों की सरकारों को हाई अलर्ट जारी किया गया है. लोगों को फेलिन नामक उस तूफान की याद डराने लगी है, जिसने जबरदस्त कहर बरपाया था. तूफान...
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जम्मू-कश्मीर : झेलम-चनाब का शोर और जल आयोग की चुप्पी
देश भर में बाढ़ की स्थिति का पूर्वानुमान लगाने और राज्यों को इस बारे में आगाह करने की जिम्मेवारी संभालने वाला केंद्रीय जल आयोग क्या जम्मू-कश्मीर में आई बाढ़ के मामले में अपनी भूमिका निभाने में नाकाम रहा है ? पर्यावरण और प्राकृतिक आपदा के मुद्दे को लेकर सक्रिय स्वयंसेवी संस्था साऊथ एशिया नेटवर्क ऑन डैमस्, रिवर्स एंड पीप'ल का कहना है कि केंद्रीय जल आयोग की तरफ से जम्मू-कश्मीर राज्य...
More »बदलते पर्यावरण की विनाशलीला - सुनीता नारायण
जम्मू-कश्मीर 60 साल की सबसे भयानक बाढ़ के अभिशाप को झेल रहा है। छह लाख लोग फंसे हुए हैं और 200 से ज्यादा के मरने की खबर है। इसके साथ ही धीरे-धीरे अब सबका ध्यान इस अप्रत्याशित प्राकृतिक आपदा के कारणों की तरफ जा रहा है। कहा जा रहा है कि बाढ़ के पानी ने अचानक ही इस राज्य को अपनी गिरफ्त में ले लिया। लेकिन यह कैसे हुआ? हर...
More »बजर पड़े तो बजरा बोएं, आधुनिक तरीके से करें बाजरे की खेती- डा. प्रवीण कुमार द्विवेदी
बाजरा अथवा पर्लमीलेट (पेनीसेटम टाईफ्वायडस एल) एक महत्वपूर्ण मोटे अनाज वाली फसल है. इसकी खेती प्रागैतिहासिक काल से अफ्रीका एवं एशिया प्रायद्विप में होती रही है. तमाम मौसम संबंधित कठोर चुनौतियों का सामना खासकर सूखा को आसानी से सहने के कारण राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्रा, ओडीसा, पश्चिम बंगाल, हरियाणा, उत्तर प्रदेश एवं अन्य सुखा ग्रस्त क्षेत्रों की यह महत्वपूर्ण फसल है. समस्त अनाजवाली फसलों में सूखा के प्रति सर्वाधिक प्रतिरोधक...
More »मौसम की अटकलों से बढ़ती दुविधा - प्रमोद भार्गव
बरसात से पूर्व मौसम विभाग द्वारा मानसून की भविष्यवाणियों में फेरबदल चिंता का सबब बन रहा है। मई की शुरुआत में सामान्य से पांच फीसद कम बारिश की भविष्यवाणी की गई थी, लेकिन 9 जून को औसत से सात प्रतिशत कम वर्षा का अंदेशा जताया गया। यानी आज भी हमारा मौसम विभाग सटीक भविष्यवाणी करने की स्थिति में नहीं है। इस पर चिंतित होना इसलिए लाजिमी है, क्योंकि पिछले कुछ...
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