अनवरत चलने वाली प्राकृतिक सामंजस्य की एक प्रक्रिया के परिणामस्वरूप उत्पन्न् भयावह और विनाशकारी भूकंप पर पूर्ण नियंत्रण असंभव है। बचाव के उपाय ही हमारे पास एकमात्र विकल्प हैं। पिछली सदी के दौरान भारत तथा आसपास के देशों से जुड़े क्षेत्रों में 5.0 गहनता के भूकंपों की एक पूरी श्र्ाृंखला बताती है कि भारत, नेपाल और यह पूरा इलाका भूकंपीय क्षेत्र है। नेपाल में आए बड़े भूकंप के जबर्दस्त कंपन...
More »SEARCH RESULT
सोच बदलने से बढ़ेगी साक्षरता- वरुण गांधी
वर्ष 2014 में देश में तीस करोड़ से ज्यादा बच्चे 6-17 के आयुवर्ग के थे। देश में प्राथमिक और माध्यमिक स्कूलों की संख्या क्रमशः 1,191,719 और 233,845 हैं, जबकि माध्यमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षा में हमारा सकल पंजीकरण अनुपात क्रमशः 73.6 और 49.1 है। उच्चतर शिक्षा के क्षेत्र में तो यह अनुपात महज 21.1 फीसदी है। वहीं प्राथमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षा में हमारा शिक्षक-विद्यार्थी अनुपात क्रमशः 28 और 40...
More »सब्सिडी का होगा बेहतर उपयोग- जयंतीलाल भंडारी
यकीनन कल तक लगातार सब्सिडी बढ़ने और सब्सिडी के दुरुपयोग वाले देशों की सूची में भारत पहली पंक्ति में शामिल किया जाता रहा है। अब पहली बार वित्त वर्ष 2015-16 के बजट में सरकार ने खाद्य, उर्वरक और पेट्रोलियम पर दी जाने वाली सब्सिडी में 10 फीसदी की कटौती कर दी है। लेकिन सब्सिडी के बेहतर उपयोग का प्रश्न देश के समक्ष उपस्थित है। अर्थव्यवस्था की खस्ता हालत के लिए मोटे...
More »ग्रामोद्योग की फिक्र किसे है- अरुण तिवारी
निवेश और उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न शुल्क और मंजूरियों में छूट से लेकर तकनीकी उन्नयन और इ-बिज पोर्टल जैसी तमाम घोषणाएं बजट में है। मंजूरियों में छूट को लेकर एक विधेयक लाने की तैयारी का संकेत भी कर दिया गया है। कहना न होगा कि वित्तमंत्री ने उद्योगों की तो खूब चिंता की, परग्रामोद्योगों को अब भी प्रतीक्षा है कि कोई आए और अलग से उनकी चिंता...
More »दिल्ली में हो सकती है एक नये किस्म के बजट की शुरुआत..
दिल्ली की नव-निर्वाचित आम आदमी पार्टी की सरकार ने वित्त-वर्ष 2015-16 के लिए नागरिक केंद्रित एक ऐसा बजट बना सकती है जिसे मोहल्ला स्तर पर लागू किया जा सकेगा। ब्राजील के शहर पोर्तो अलेगे में नगरपालिका स्तर पर संचालित भागीदारी आधारित बजटिंग की सफलता से प्रेरणा लेते हुए दिल्ली की नई सरकार ने कुछेक निर्वाचन क्षेत्रों में इसे प्रायोगिक आधार पर लागू करने की बात कही है। गौरतलब है कि 2015...
More »