आज के तकनीकी विशेषज्ञों की सबसे अच्छी बात यह है कि वे हमारी कुछ सबसे पुरानी समस्याए सुलझा रहे हैं। ऐसी समस्याएं, जो कोई कभी सुलझाना ही नहीं चाहता था, क्योंकि मुनाफा यथास्थिति में ही था, इसलिए कोई नहीं चाहता था कि ये दूर हों। हर कोई इससे पैसे कमा रहा था। फिर तकनीक के विशेषज्ञ आए और उन्होंने सारा खेल बिगाड़ दिया। आइए कुछ उदाहरण देखते हैं : टैक्सी एप...
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खाद्य सुरक्षा: सुधर सकते हैं फिसड्डी राज्यों के भी हालात- ज्यां द्रेज, रीतिका खेड़ा
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) की दशा ठीक नहीं है। अधिनियम को लागू हुए दो साल होने को आये लेकिन कुछ ही राज्य इसपर अमल कर पाये हैं। बाकी राज्य अब भी पात्र परिवारों की पहचान, सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के सुधार तथा अन्य तैयारियों से जूझ रहे हैं। तो भी, हाल के सबूतों से संकेत मिलते हैं कि कुछ राज्य अधिनियम को बेहतर ढंग से लागू कर पाये...
More »'स्मार्ट' शहरों से हम क्या समझें? - अनुराग चतुर्वेदी
इन दिनों 'स्मार्ट" शब्द का खासा हल्ला मचा हुआ है। देखते-देखते 'स्मार्टफोन" पूरे भारत में छा गए। फोन की तकनीकों ने पूरा नजारा, पूरा बिजनेस ही बदल डाला। अब 'स्मार्ट सिटी" की बातें कही जा रही हैं। 100 स्मार्ट सिटी के मार्फत भारत के शहरों का नक्शा बदलने की तैयारी की जा रही है। मौजूदा वित्त वर्ष स्मार्ट सिटी क्रांति की शुरुआत का वर्ष होगा। देश में इस साल 20...
More »नेट निरपक्षेता का उल्लंघन अभिव्यक्ति की आजादी के खिलाफ है : NASSCOM
नयी दिल्ली : आईटी उद्योग के संगठन नासकाम ने नेट निरपेक्षता का पुरजोर समर्थन करते हुए आज कहा कि इंटरनेट पहुंच में किसी तरह का भेदभाव अभिव्यक्ति की आजादी का उल्लंघन ही है. नासकाम के अध्यक्ष आर चंद्रशेखर ने संवाददाताओं से यह बात कही. उन्होंने कहा, डेटा के प्लेटाफार्मों तक पहुंच पर किसी भी तरह का प्रतिबंध अभिव्यक्ति की आजादी पर प्रतिबंध के समान ही है क्योंकि मेरी अभिव्यक्ति की आजादी...
More »अनजान देश से शिक्षा का सबक
दक्षिण अफ्रीका के बीचोबीच, एक देश है लेसोथो. हम में से कई लोगों ने शायद इसका नाम भी न सुना हो. लगभग 30 हजार वर्ग किमी में फैले इस देश की जनसंख्या बमुश्किल 25 लाख है. लेकिन आज इस देश की यहां चर्चा इसलिए हो रही है कि इसने बच्चों की शिक्षा के लिए एक अनूठा तरीका अपनाया है. इस देश में मोबाइल फोन पर बच्चों का होमवर्क कराया जा...
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