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मॉनसून में कमी के चलते ग्रामीण इलाकों में बढ़ी मनरेगा के तहत काम की मांग

डाउन टू अर्थ, 13 सितम्बर  पिछले तीन महीनों में मॉनसून के दौरान पर्याप्त बारिश न होने के कारण महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में काम की मांग काफी बढ़ गई है। कुछ राज्यों में तो यह मांग महामारी के समय से भी ज्यादा है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के मुताबिक सितंबर के दूसरे सप्ताह तक देश में होने वाली मानसूनी बारिश में 40...

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मॉनसून के अगले दो महीनों में एक साथ दिख सकते हैं सूखे और बाढ़ के हालात

डाउन टू अर्थ, 1 अगस्त  भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने दक्षिण पश्चिम मॉनसून के अगले दो महीने यानी अगस्त और सितंबर की बारिश का पूर्वानुमान जारी किया है। पूर्वानुमान के अनुसार, इस अवधि में हिमालय से सटे उपखंडों के अधिकांश हिस्सों, पूर्व मध्य भारत, पूर्वी भारत और उत्तर-पूर्व के कुछ क्षेत्रों में सामान्य अथवा सामान्य से अधिक बारिश की संभावना है। वहीं दूसरी तरफ प्रायद्वीपीय भारत के अधिकांश क्षेत्रों, उत्तर पश्चिम...

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मॉनसून: 123 साल के इतिहास में जून 2023 में दक्षिणी भारत में हुई सबसे कम बारिश

देश के दक्षिणी प्रायद्वीप में जून 2023 में केवल 88 मिलीमीटर बारिश हुई, जो 1901 से लेकर अब तक के मौसमी इतिहास में सबसे कम रही। इससे पहले 1976 में 90.7 मिमी बारिश हुई थी। यह जानकारी 4 जुलाई 2023 को भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) द्वारा जून माह की क्लाइमेट समरी में दी गई है। आईएमडी के मुताबिक पूरे देश में दीर्घकालिक अवधि के औसत के मुकाबले लगभग 10 प्रतिशत कम...

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केरल में दक्षिण पश्चिम मॉनसून आने में थोड़ी देरी, चार जून को दे सकता है दस्तक: मौसम विभाग

डाउन टू अर्थ 16 मई  भारतीय दक्षिण-पश्चिम मॉनसून जो भारत में फसल के लिए अहम है। इसकी शुरुआत केरल से होती है, जो गर्म और शुष्क मौसम को बरसात के मौसम में बदल देता है। जैसे-जैसे मॉनसून उत्तर की ओर बढ़ता है, कई इलाकों में पड़ रही चिलचिलाती गर्मी से लोगों को राहत महसूस होती है। दक्षिण पश्चिम मॉनसून आमतौर पर एक जून को केरल में आता है यह लगभग सात दिन...

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साल 2022 में दुनियाभर में आंतरिक रूप से विस्थापित लोगों की संख्या रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंची

द वायर, 15 मई एक अंतरराष्ट्रीय रिपोर्ट के अनुसार, 2022 के अंत तक दुनियाभर में आंतरिक रूप से विस्थापित लोगों (इंटरनली डिस्प्लेस्ड पीपल- आईडीपी) की संख्या 71.1 मिलियन (7 करोड़ से अधिक) के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर पहुंच गई, जो 2021 की तुलना में 20 प्रतिशत अधिक है. आंतरिक विस्थापन निगरानी केंद्र (Internal Displacement Monitoring Centre- आईएमडीसी) और नॉर्वेन रिफ्यूजी काउंसिल (एनआरसी) की 76 पृष्ठीय रिपोर्ट में कहा गया है कि भू-राजनीतिक संकट,...

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