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जमीन माफिया मालामाल, उजड़ रहे हैं खरीदार

सरकारी जमीन खरीदनेवाले पर होती है कार्रवाई, बच जाते हैं जमीन बेचने वाले जमशेदपुर : सरकारी जमीन बेचना एवं खरीदना दोनों गैर गैर कानूनी है, लेकिन जिला प्रशासन की कार्रवाई से सरकारी जमीन खरीदने वाले तो प्रभावित हो रहे हैं, लेकिन सरकारी जमीन बेचने वाले जमीन माफियाओं पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही है. प्रशासन कार्रवाई तब करता है जब लाखों रुपये देकर लोग सरकारी जमीन खरीद चुके होते हैं. मानगो, बिरसानगर,...

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वादे से मुकरे राजीव शुक्ला, अब तक नहीं लौटाई 100 करोड़ की जमीन

मुंबई केंद्रीय मंत्री राजीव शुक्ला ने उन्हें कौड़ियों के भाव मिली 100 करोड़ रुपये की जमीन वापस लौटाने के अपने वादे को अभी तक पूरा नहीं किया है। महाराष्ट्र के राजस्व विभाग के अधिकारियों से जानकारी मिली है कि यह जमीन अभी भी शुक्ला के कब्जे में है और इस पर उनके गार्ड्स तैनात हैं। हमारे सहयोगी अखबार 'मुंबई मिरर' की पड़ताल में पता चला है कि राज्य सरकार ने अभी...

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'हमारे सामने अवसर बड़ा, झोली छोटी'- योगेन्द्र यादव

डॉ योगेंद्र यादव जाने-माने चुनावी विश्लेषक रहे हैं. देश के कई जनांदोलनों में उन्होंने सक्रिय भागीदारी की है. आम आदमी पार्टी के एक प्रमुख चेहरे के रूप में वह देश के जनांदोलनों को एक मंच पर लाकर अपनी पार्टी को राष्ट्रीय स्वरूप देने की कोशिश में जुटे हैं. पेश है ‘आप’ की राष्ट्रीय राजनीति, रणनीति  और लोकसभा चुनाव में उसके लिए संभावनाओं पर डॉ योगेंद्र यादव से प्रभात खबर के...

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राहत का अल्पविराम- प्रियंका दुबे

12 नवंबर, 2013 को सर्वोच्च न्यायालय से जमानत मिलने के बाद रिहा हुई 36 वर्षीया सोनी सोरी की कहानी जितनी माओवादियों और पुलिस के अत्याचारों के बीच फंसे एक आम आदिवासी की मुश्किलें दिखाती है उतनी ही ‘माओवादी या माओवादी समर्थक’ होने के धुंधले आरोपों के तहत छत्तीसगढ़ की जेलों में न जाने कितने लंबे समय के लिए धकेल दिए गए सैकड़ों निर्दोष आदिवासियों की त्रासदी भी. माओवादी संघर्ष के...

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किसने बनाया किसान को गरीब- कुसुमलता केडिया

भारत की हजारों वर्षों की जिस संपन्नता की बात की जाती है, वह मुख्यतया किसानों, शिल्पियों और व्यापारियों पर टिकी थी। राजकोष में आने वाले धन का सबसे बड़ा हिस्सा किसानों से प्राप्त होता था। मनु-स्मृति, विष्णुधर्मसूत्र, गौतमधर्मसूत्र आदि में स्पष्ट व्यवस्था है कि सामान्यतया राज्य कृषि उत्पादन का बारहवां अंश लेगा। अगर कोई विशेष संकट उपस्थित हो तो आठवां या छठा अंश भी मांगा जा सकता है। कभी-कभार ही...

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