शीशे की एक दीवार को तोड़ने के लिए कितने गुस्से की दरकार होती है? पश्चिमी लोकतंत्र में शीशे की दीवार महिला अधिकारों के संघर्ष के दौरान पक्षपात के प्रतीक में तब्दील हो गयी. महिलाएं 1970 तक एक बने बनाए ढर्रे से बाहर निकल मुख्यधारा में शामिल तो जरूर हुईं, लेकिन वहां से आगे बढ़ने का रास्ता नहीं खुलता था. यह अदृश्य दीवार उन्हें बोर्ड रूम में दाखिल होने से रोकती...
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राजस्थान: तीन माह में भरे जायेंगे 50 हजार शिक्षकों के पद
जयपुर.शिक्षा मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल ने कहा है कि राज्य में अगले तीन माह में शिक्षकों के 50 हजार खाली पदों पर नियुक्तियां कर दी जाएंगी। उन्होंने शिक्षा के अधिकार कानून के तहत जन-जागरूकता और सामुदायिक प्रयासों को बढ़ावा देने के मकसद से प्रधानमंत्री द्वारा आगामी 11 नवंबर से शुरू किए जा रहे ‘शिक्षा का हक’ राष्ट्रीय अभियान की सफलता के लिए प्रदेश की ओर से पूरे समर्थन का भरोसा दिलाया है।...
More »गरीबों की गिनती का सच : हर्ष मंदर
मानवीय अस्मिता के साथ जीवन बिताने के लिए किसी गरीब व्यक्ति को कितने पैसे की जरूरत हो सकती है? हम जिस समय में जी रहे हैं, उसमें ऐसा कभी-कभार ही होता है कि अखबारों के फ्रंट पेज और खबरिया चैनलों के प्राइम टाइम बुलेटिनों में यह सवाल सुर्खियों में आया हो। यह भी आम तौर पर नहीं होता कि इस पहेली ने मध्यवर्ग की चेतना को चुनौती दी हो। लेकिन जब...
More »कथा बीपीएल-क्लब की - ज्यां द्रेज
झारखंड के लातेहार जिले के डबलू सिंह के परिवार की दुर्दशा वर्तमान खाद्य-नीतियों की विसंगतियों को जितनी मार्मिकता से उजागर करती है उतनी शायद कोई और बात नहीं करती। जीविका के लिए मुख्य रुप से दिहाड़ी मजदूरी पर निर्भर आदिवासी युवक डबलू, तकरीबन दो साल पहले, काम करते वक्त छत से गिर पडा और उसकी रीढ़ की हड्डी टूट गई। जीवनभर के लिए अपंग हो चुके डबलू को हर वक्त...
More »इन्क्लूसिव मीडिया फैलोशिप (2011)--- परिणाम घोषित
विकासशील समाज अध्ययन पीठ (सीएसडीएस) के इन्क्लूसिव मीडिया फैलोशिप के लिए देश भर से आठ पत्रकार चयनित हुए हैं। इसमें एक फैलोशिप का प्रायोजन देश के स्कूलों में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की दिशा में अग्रणी भूमिका निभाने वाले वाले स्वयंसेवी संगठन प्रथम के aser (एनुअल स्टेटस् ऑव एजुकेशन-रुरल) की तरफ से किया गया है। इन्कलूसिव मीडिया प्रोजेक्ट के अन्तर्गत मीडिया-रिसर्च का भी काम होता है, साथ ही भारत के ग्रामीण संकट...
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