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जमीन को लेकर बढ़ती सियासी रार - आरती जेरथ

भूमि अधिग्रहण विधेयक को लेकर कांग्रेस और भाजपा के बीच निर्णायक मुठभेड़ के लिए मंच तैयार हो चुका है और दोनों ही पार्टियां इसके लिए अपनी फौजों को तैयार कर रही हैं। इसकी गूंज संसद में बजट सत्र का दूसरा चरण शुरू होने पर सदन के भीतर और बाहर दोनों जगह सुनाई देगी, क्योंकि दोनों ही राष्ट्रीय पार्टियां अस्थिर किसान लॉबी को अपने पक्ष में करने की कोशिशों में जुटी...

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भारत की विकास दर 2017 तक हो जाएगी 8 फीसदी: वर्ल्‍ड बैंक

वाशिंगटन। वर्ल्‍ड बैंक ने कहा है कि भारत की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर वर्ष 2017 तक 8 फीसदी पर पहुंच सकती है। इसके साथ ही भारत में मजबूत विस्तार तथा कच्‍चे तेल की अनुकूल कीमतों के चलते दक्षिण एशिया की आर्थिक वृद्धि को रफ्तार मिलेगी। वर्ल्‍ड बैंक ने अपनी छमाही रिपोर्ट में कहा है कि वित्त वर्ष 2015-16 में देश की जीडीपी की वृद्धि दर 7.5 फीसदी रहने...

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अब भी हो रही पर्यावरण की अनदेखी - डॉ. भरत झुनझुनवाला

राज्यों के पर्यावरण मंत्रियों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा था कि पर्यावरण और विकास को साथ-साथ चलाया जा सकता है। बात सही है। आइए देखें कि सरकार इन दोनों उद्देश्यों को किस प्रकार एक साथ हासिल कर रही है। देश के पर्यावरण कानूनों की समीक्षा करने को मोदी सरकार ने पूर्व कैबिनेट सचिव टीएसआर सुब्रमण्यम की अध्यक्षता में एक उच्च-स्तरीय कमेटी गठित की थी। कमेटी में पर्यावरण से...

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जल, जंगल और जमीन लौटाओ तो हल होगी नक्सल समस्या - वीके सिंह

रायपुर। केंद्रीय विदेश राज्यमंत्री और सेवानिवृत्त जनरल वीके सिंह का कहना है कि नक्सली आदिवासियों के लिए जल, जंगल और जमीन के लिए लड़ाई लड़ रहे हैं। प्रभावित इलाकों तक विकास पहुंचाकर और स्थानीय लोगों को भरोसे में लेकर इस समस्या से निपटा जा सकता है। श्री सिंह मंगलवार को संस्कृति विभाग परिसर में आयोजित फिल्म फेस्टिवल के समापन समारोह में शामिल होने यहां पहुंचे। मीडिया से चर्चा के दौरान जब...

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आदिवासियों, किसानों की जमीन बचाने से हो शुरुआत- सच्चिदानंद सिन्हा

बुजुर्ग समाजवादी चिंतक सच्चिदानंद सिन्हा के लेख व भाषण हम समय-समय पर छापते रहते हैं, जिनमें वह बार-बार चिह्न्ति करते हैं कि पर्यावरण और प्रकृति के विनाश के लिए अगर कोई जिम्मेदार है, तो वो है औद्योगीकरण और उपभोग आधारित अर्थव्यवस्था. और अगर इनसान नहीं चेता, तो इसी की वजह एक दिन वह खुद भी नष्ट हो जायेगा. एक और क्षेत्र उनकी चिंता में स्थायी रूप से रहता है कि अब...

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