सरदार सरोवर बांध का डूब क्षेत्र 214 किलोमीटर का है. इस परियोजना से लाखों लोग प्रभावित हो रहे हैं. इससे विस्थापित होने वालों में 50 प्रतिशत आदिवासी और 20 प्रतिशत से ज्यादा लोग गरीब और वंचित समुदायों के हैं. नर्मदा बचाओ आंदोलन की शुरुआत जनशक्ति के आधार पर हुई है. अब तक जो हासिल हुआ वह लंबे मैदानी संघर्ष और कानूनी लड़ाइयों की वजह से संभव हुआ है. इस आंदोलन...
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दुनिया एक और महामंदी की ओर? - परंजॉय गुहा ठाकुरता
क्या 1930 की महामंदी के बाद दुनिया एक और महामंदी की ओर बढ़ रही है? क्या हम यह मान लें कि वर्ष 2008 की मंदी इस महामंदी का शुरुआती दौर भर थी? दुनिया ग्रीस त्रासदी पर टकटकी लगाए हुए है। भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन कहते हैं कि 1930 जैसी महामंदी के हालात फिर से निर्मित हो सकते हैं। अलबत्ता इसके एक दिन बाद ही आरबीआई द्वारा सफाई...
More »पोलावरम परियोजना : डीएफओ की रिपोर्ट ने उड़ाई सरकार की नींद
जगदलपुर(ब्यूरो)। पड़ोसी राज्य तेलंगाना में निर्माणाधीन पोलावरम अंतरराज्यीय बहुउद्देशीय परियोजना के डूबान में आने वाले दक्षिण बस्तर के सुकमा जिले के वनक्षेत्र को लेकर वन विभाग की एक रिपोर्ट ने सरकार की नींद उड़ा दी है। ऐसे समय जब प्रदेश सरकार पोलावरम परियोजना के डूबान से छत्तीसगढ़ को बाहर रखने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट में लड़ाई लड़ रही है, सुकमा वनमंडल ने एक रिपोर्ट जल संसाधन विभाग को भेज...
More »50 हजार परिवारों की रोजी छीन लेगा सरदार सरोवर
नर्मदा घाटी से जितेंद्र यादव। सरदार सरोवर बांध की ऊंचाई बढ़ाने के केंद्र सरकार और नर्मदा कंट्रोल अथॉरिटी (एनसीए) के फैसले ने मप्र में नर्मदा घाटी के 193 गांवों को डूब से पहले चिंता और दहशत में डुबो दिया है। घाटी के लगभग 50 हजार परिवारों के रोजगार पर संकट के बादल छा गए हैं। बांध की ऊंचाई बढ़ाने का फैसला दिल्ली और गुजरात से होकर आया है, लेकिन इसका...
More »दामोदर की जीवन रेखा को चाहिए जीवन दान- उमा(धनबाद)
-आजाद भारत की प्रथम बहु-उद्देशीय नदी परियोजना दामोदर घाटी निगम पर संकट के बादल- बाढ़ जैसी भीषण प्राकृतिक आपदा को नियंत्रित करते हुए जीवन को रोशन करने के मकसद से 66 साल पहले 7 जुलाई, 1948 को अस्तित्व में आयी आजाद भारत की प्रथम बहु-उद्देशीय नदी परियोजना दामोदर घाटी निगम (डीवीसी) की जीवन रेखा आज जीवन दान के लिए तरस रही है. 27 मार्च, 1948 को डीवीसी का गठन भारत के संसद...
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