पश्चिमी उत्तर प्रदेश के पश्चिमोत्तर भाग में हिंडन और कृष्णा नदी के किनारे बसे सैंकड़ों गांव के लोगों के लिए पानी सबसे बड़ा जहर है. यहां मौजूद पानी में धातु की मात्रा के कारण बच्चों को कई तरह की गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं हो रही हैं. यह सब कुछ पिछले दो दशक से हो रहा है. राज्य सरकार ने इस स्थिति में सुधार के लिए कुछ नहीं किया. इससे मजबूर गांव...
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नीतीश ने PM मोदी से कहा, विशेष राज्य का दर्जा दें, खत्म करें राज्यपाल का पद
नयी दिल्ली : शनिवार को 10 साल के अंतराल में आयोजित अंतरराज्यीय परिषद की बैठक में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार के सामाजिक और आर्थिक हालात को देखते हुए विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग की. उन्होंने पूरे देश में शराबबंदी लागू करने की भी मांग की. साथ ही नीतीश ने राज्यपाल का पद समाप्त करने की मांग करते हुए कहा कि वर्तमान संघीय गणतांत्रिक परिवेश में इस...
More »बालश्रमः मुरझाने न पाए पौध
रोचिका शर्मा : बाल मजदूरी हमारे देश की एक बड़ी समस्या है। दुनिया में सबसे ज्यादा बाल मजदूर भारत में हैं। छोटे शहरों में बच्चे जहां अपने पारिवरिक धंधों में लगे हैं वहीं बड़े शहरों में हर गली-मुहल्ले में या नुक्कड़ पर गांवों से लाए गए बच्चे या शहर की ही गरीब बस्तियों के बच्चे होटलों, घरों, लघु-उद्योगों आदि में बर्तन धोते, साफ-सफाई करते या सिलाई-बुनाई करते नजर आ जाते हैं।...
More »संस्थाओं की साख का सवाल-- जगमोहन सिंह राजपूत
शिक्षा एक ऐसी गतिशील प्रक्रिया है, जिसका निर्मल प्रवाह जीवनदायिनी धारा है। जिस समाज और सभ्यता में शिक्षा के इस महत्त्व को समझ लिया जाता है, उसकी प्रगति की राह के हर प्रकार के अवरोध दूर करने के ज्ञान और कौशल से युक्त व्यक्ति सदा आगे आ जाते हैं। आज शिक्षा की अवश्यकता किसी को भी समझानी नहीं पड़ती है। सरकारी आंकड़े गवाह हैं कि संविधान के निर्देशानुसार चौदह वर्ष...
More »आर्थिक सुधार- नई मंजिलें- पी चिदंबरम
पिछले हफ्ते भारत में आर्थिक सुधार और भारतीय अर्थव्यवस्था के उदारीकरण के पच्चीस साल पूरे हुए। सरकार ने इस अवसर की अनदेखी की, और इसकी वजह समझना मुश्किल नहीं है: आर्थिक सुधार पीवी नरसिंह राव के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार ने शुरू किए थे, और तब भाजपा ने इसका पुरजोर विरोध किया था। (स्वदेशी जागरण मंच का वजूद आज भी है।) कल्पना करें कि 1991 में अटल बिहारी वाजपेयी...
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