शिक्षा का अधिकार 'मौलिक अधिकार' तो बन गया, लेकिन इसे व्यवहार में लागू करने में शिक्षा विभाग के पसीने छूट रहे हैं। इसके लिए कोई और नहीं बल्कि सरकारी नीतियां ही जिम्मेदार हैं। एसएसए से मिले आंकड़ों के अनुसार जिले भर में 6-14 आयु वर्ग के लगभग 2500 बच्चे स्कूली शिक्षा से महरूम हैं। इन बच्चों को तलाशने और उन्हें स्कूल की राह दिखाने के लिए 1 अप्रैल से 31 मई तक 'ड्राप आउट सर्वे'...
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हरी वादियों का चितेरा
अस्सी के दशक की शुरुआत से ही एक अकेले व्यक्ति के शांत प्रयासों ने ऐसे ग्रामीण आंदोलन की नींव रखी जिसने उत्तराखंड की बंजर पहाड़ियों को फिर से हराभरा कर दिया। सच्चिदानंद भारती की असाधारण उपलब्धियों को सामने लाने का प्रयास किया संजय दुबे ने। (तहलका-हिन्दी से साभार) शायद ही कुछ ऐसा हो जो संच्चिदानंद भारती को उफरें खाल के बाकी ग्रामीणों से अलग करता हो। ये तो जब वो...
More »सेहत की आड़ में सेहत से खिलवाड़
कैंसर से बचाने के लिए हजारों गरीब बच्चियों को एक विवादित टीका लगाया जा रहा है और ऐसा करने के लिए सरकार, कंपनियां और गैरसरकारी संगठन नियम-कायदों की धज्जियां उड़ा रहे हैं. शांतनु गुहा रे और कुणाल मजूमदार की रिपोर्ट नागेश्वर और वेंकटम्मा से जब कोई सरिता के बारे में पूछता है तो वे कुछ नहीं कहते. बस दीवार पर टंगी एक फोटो की तरफ इशारा कर देते हैं. आप कुछ...
More »नासूर बना नक्सलवाद
नई दिल्ली [इरा झा]। बस्तर के दंतेवाड़ा में नक्सलियों के हाथों सीआरपीएफ के लगभग 80 जवानों को बेरहमी से मौत के घाट उतारे जाने के कारण अब सरकार और नक्सली दोनों ही खेमों के बीच लड़ाई के पाले साफ-साफ खिंच गए हैं। इसे नक्सलियों का रणनीतिक प्रतिवाद माना जा सकता है। इसके अलावा उन्होंने इस जघन्य हमले के द्वारा अपने बीच फूट पड़ने, बड़े नेताओं की गिरफ्तारी से काडर में घबराहट और दिशाहीनता तथा...
More »जम्मू-कश्मीर में महिलाएं बैंक खोलने की तैयारी में
जम्मू [गुलदेव राज]। बदलते जमाने में महिलाएं हर क्षेत्र में प्रवेश कर सबको हैरान कर रही हैं। अब तो औरतें बड़े-बड़े पदों पर भी अपनी दस्तक दे रही हैं। आजादी के 62 सालों बाद आज स्कूल, कालेज, अस्पतालों, विभिन्न सरकारी व गैर सरकारी संस्थानों की छोटी बड़ी सब नौकरियों में औरतों की अच्छी भागीदारी नजर आती है। मगर जम्मू-कश्मीर में तो औरतों ने नौकरियों में पुरुषों का पत्ता ही काटने का मन बना लिया है।...
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