-आउटलुक, बिहार विधानसभा चुनाव के नतीजों पर हमें आश्चर्य होना चाहिए। इसलिए नहीं कि एग्जिट पोल के नतीजे देखकर हमने कुछ और उम्मीदें पाल ली थीं, इसलिए नहीं कि मीडिया में आने वाली ग्राउंड रिपोर्ट सत्तारूढ़ गठबंधन की विदाई का संकेत दे रही थीं, इसलिए नहीं कि नतीजे हमारी आशा के अनुरूप नहीं थे। हमें राज्य में सत्तारूढ़ गठबंधन की एक और विजय पर आश्चर्य इसलिए होना चाहिए चूंकि यह नतीजा इतिहास के इस...
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कोरोना के दौर में घुमंतू समुदाय
-डाउन टू अर्थ, कोरोनावायरस के फैलाव को कम करने के लिए लगाए गए लॉकडाउन ने पहले से बदहाल घुमंतू समुदाय की कमर तोड़कर रख दी है। पशुधन पर आश्रित ये समुदाय अब अपने पशुओं को खिलाने की स्थिति में नहीं है। राइका रैबारी समुदाय ने अपने ऊंटों को खुला छोड़ दिया है। भेड़-बकरी पालक भी हताश हैं। मार्च और अप्रैल में लगे लॉकडाउन ने इन घुमंतुओं को एक स्थान रुकने को...
More »दो महीने में 350 हाथियों की मौत की वजह क्या है
-बीबीसी, अफ़्रीकी देश बोत्सवाना में बीते दो महीनों में सैकड़ों हाथियों की मौत हो चुकी है. डॉ. नियाल मैकेन का कहना है कि उनके सहयोगियों ने मई की शुरुआत से लेकर अभी तक दक्षिणी अफ्रीका के इस देश के ओकावांगो डेल्टा में 350 से अधिक मृत हाथियों की पहचान की है. किसी को अभी तक ये नहीं पता है कि इन हाथियों की मौत का कारण क्या है. हालांकि सरकार ने लैब...
More »अनलॉक 1: काम पर लौटने को लेकर हम इतने डरे हुए क्यों हैं?
-बीबीसी, घर पर रहने के आदेश वापस लिए जाने लगे हैं और हममें से कई लोग काम पर लौटने लगे हैं. भारत में भी सोमवार से कई आर्थिक गतिविधियां फिर से शुरू हो रही हैं. लेकिन सामान्य दिनचर्या को फिर से शुरू करने में आपको घबराहट क्यों है? जब हमें पहली बार अपने घरों तक सीमित किया गया तब हम रोज़मर्रा की ज़िंदगी में लौटने के ख़्वाब देखते थे. हम अपने पसंदीदा पब, थिएटर...
More »विश्लेषण: पूरे भारत में लॉकडाउन से कितना काबू आया कोरोनावायरस?
-डाउन टू अर्थ, भारत दुनिया का सबसे बड़ा देश है, जिसने 42 दिन के लॉकडाउन का सामना किया। लगभग 130 करोड़ लोग कोरोनावायरस से होने वाली बीमारी (कोविड-19) को फैलने से रोकने के लिए अपने घरों में बंद रहे। दो चरणों का लॉकडाउन खत्म होने के बाद सरकारी अधिकारियों ने दावा किया कि इन लॉकडाउन से कई फायदे हुए हैं। इनमें से एक बड़ा फायदा यह हुआ कि भारत ने कोरोनावायरस के...
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