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क्या हम इस हादसे से सबक सीखेंगे-- नीरज कुमार झा

सावधानी हटी, दुर्घटना घटी। सुरक्षा प्रथम, काम हरदम। ...ये ऐसे ‘स्लोगन' हैं, जो हरेक निर्माण स्थल के आसपास हम बडे़-बड़े अक्षरों में लिखा देखते हैं। मगर लगता नहीं कि इन वाक्यों का शब्दश: पालन भी किया जाता है। अगर किया जाता, तो तमाम हादसों से हम अपने आप बच सकते थे। वाराणसी में निर्माणाधीन पुल के गर्डर (भारी बीम) गिरने की घटना भी ऐसी ही है। अगर गर्डर रखने में...

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पेट्रोल-डीजल के कीमतों में वृद्धि से बढ़ी महंगाई दर

नई दिल्ली। लगातार महंगे हो रहे पेट्रोल-डीजल ने लंबे अरसे से ठंडी पड़ी महंगाई की आग को सुलगाना शुरू कर दिया है। हाल यह है कि अप्रैल में पेट्रोल-डीजल, फल और सब्जियां महंगे होने से थोक महंगाई दर बढ़कर 3.18 प्रतिशत हो गयी है जो चार माह के उच्चतम स्तर पर है। इसी तरह अनाज, मीट, मछली और फलों की कीमत बढ़ने से खुदरा महंगाई भी गिरावट के रुख को...

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ग्राम स्वराज पर पुनः चिंतन-- मणीन्द्र नाथ ठाकुर

वर्तमान सरकार ने ग्रामीण विकास के लिए एक नया प्रयास किया था. सांसदों को एक-एक गांव गोद लेने की सलाह दी गयी थी. उनसे कहा गया था कि इस गांव को विकास का प्रतिमान बनाया जाये. लेकिन, आखिरकार यह भी जुमला ही प्रतीत हो रहा है. पिछली सरकार के समय राष्ट्रपति कलाम साहब ने भी एक सपना देखा था कि ग्रामीण इलाकों में शहरों की सुविधाएं दी जाएं. लेकिन...

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बंगाल में लोकतंत्र का मखौल-- प्रसेनजीत बोस

पश्चिम बंगाल का मौजूदा पंचायत चुनाव पूरी तरह से लोकतंत्र के साथ घटिया मजाक है. फिलहाल राज्य में पंचायत के पदों की संख्या करीब 48 हजार है. साल 1978 से हर पांच वर्ष पर राज्य में पंचायत के चुनाव हो रहे हैं. उस समय से दो बार- 2003 में वाम मोर्चे की सरकार और 2013 में तृणमूल कांग्रेस की सरकार के तहत- सबसे ज्यादा निर्विरोध उम्मीदवार चुने गये थे....

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सरकार का तीसरा अग्रिम अनुमान : फसल वर्ष 2017-18 में खाद्यान्नों का होगा रिकॉर्ड उत्पादन

नयी दिल्ली : कृषि उत्पादन के बारे में सरकार ने ताजा अनुमान जारी किया है. सरकार के अनुमानों के अनुसार, देश में चालू फसल वर्ष जुलाई-जून 2017-18 में 27 करोड़ 95.1 लाख टन अनाज का उत्पादन होगा, जो एक कीर्तिमान है. यह अनुमान पिछले साल के उत्पादन के मुकाबले 1.6 फीसदी अधिक है. पिछले साल से मॉनसून अच्छा रहा और कृषित उत्पादों के समर्थन मूल्य में वृद्धि से किसान अधिक...

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