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भ्रष्टाचार-रिश्वतखोरी की लोकायुक्त में रोजाना 18 से ज्यादा शिकायतें

भोपाल। मप्र में सरकारी तंत्र में फैले भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के कारण 2017-18 में 6742 लोगों ने शिकायतें की थीं। यानी हर रोज करीब 18 से ज्यादा शिकायतें की गईं जिनमें से 20 फीसदी मामलों को ही लोकायुक्त द्वारा जांच के योग्य माना गया और कार्रवाई की जाती है। विधिक सलाहकारों की कमी के चलते शिकायतों और जांचों के निराकरण में कमी आई है। सूत्रों के मुताबिक लोकायुक्त संगठन में पांच...

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नॉनवेज फूड की खपत में बंगाल देश में दूसरे स्थान पर, 98.7 % पुरुष व 98.4 % महिलाएं हैं मांसाहारी

कोलकाता : बंगाल विशेष तौर पर रसगुल्ला और माछेर झोल-भात (मछली-भात) के लिए जाना जाता है. लेकिन शहरीकरण और जल प्रदूषण से मछलियों की आमद में कमी आयी है. इसका असर मछलियों के दाम पर पड़ा है. ऐसे में मछलियों के विकल्प के रूप में चिकन व मटन खाने का चलन बढ़ा हैं. बंगाल में चिकन हर उम्र के लोगों का पसंदीदा नॉनवेज फूड के रूप में उभरा...

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प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना की अवधि को बढ़ाकर 2019-20 तक किया गया

केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना की अवधि को 12वीं पंचवर्षीय योजना से बढ़ाकर 2019..20 तक कर दिया है और इस उद्देश्य के लिये 14,832 करोड़ रूपये का वित्तीय आवंटन निर्धारित किया है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आज यहां हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में इस आशय का निर्णय किया गया. इस योजना के तहत नए एम्स का निर्माण और सरकारी मेडिकल कालेजों का उन्नयन किया जा...

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कैंसर की तरह फैलता अवैध निर्माण - संजय गुप्त

हिमाचल प्रदेश के कसौली में एक होटल मालिक ने अवैध निर्माण हटाने आईं सहायक नगर नियोजन अधिकारी शैलबाला की जिस तरह गोली मारकर हत्या कर दी, वह अपराध की सामान्य घटना नहीं है। शैलबाला को गोली मारने वाले होटल मालिक ने पहले ले-देकर अपने अवैध निर्माण को बचाने की कोशिश की। जब वह नाकाम रहा तो उसने पुलिस की मौजूदगी में सहायक नगर नियोजन अधिकारी की हत्या कर दी। यह...

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बैंकिंग व्यवस्था में सुधार जरूरी-- अश्विनी महाजन

पिछले दिनों खबर आयी कि बीते पांच साल के दौरान भारत में 23 हजार बैंक धोखाधड़ियां हुईं, जिसके चलते एक लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की धनराशि फंस गयी है. निश्चित रूप से इसका असर हमारी अर्थव्यवस्था पर पड़ेगा और बैंकिंग व्यवस्था पर तो यह असर दिख भी रहा है. आज बैंक ही वित्तीय मध्यस्थता का स्रोत हैं. ऐसे लोग जिनके पास अतिरिक्त पैसा होता है, चाहे वे गृहस्थ हों,...

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