खेती को लेकर अब छोटे और मध्यम किसानों में भी एक बड़ा बदलाव देखा जा सकता है। पिछले कुछ वर्षों में ऐसे किसानों में अपने खेत बेचकर बच्चों को अच्छी शिक्षा दिलाने की प्रवृत्ति बढ़ी है। हाल के एक सर्वेक्षण से पता चला है कि 98.2 प्रतिशत किसानों की आनेवाली पीढ़ियों में किसानी के प्रति कोई रुचि नहीं है। निश्चय ही यह चिंता का विषय होना चाहिए। किसानों के बच्चों की...
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फर्जी आंकड़ों का झुनझुना थमा रहे नीतीश : दीपंकर
पटना। बिहार में विकास के आंकड़े को चुनौती दे रहे भाकपा माले के महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने मुख्यमंत्री पर एक बार फिर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि नीतीश जनता को फर्जी आंकड़ों का झुनझुना पकड़ा रहे हैं। बिहार के युवाओं और मजदूरों का पलायन नहीं रुका है। पटना के श्रीकृष्ण मेमोरियल हॉल में मंगलवार को दीपंकर खेत मजदूर सभा के चौथे राष्ट्रीय सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि न तो...
More »'दिल्ली में किसानों की जमीन लूट रही है सरकार'
लखनऊ। सरकार ने आरोप लगाया है कि दिल्ली में किसानों की जमीनों की लूट चल रही है। मुख्यमंत्री ने कहा है कि केन्द्र सरकार की नाक के नीचे दिल्ली राज्य में किसानों की जमीन औनेपौने दाम पर ली जा रही है। दिल्ली में कंजावला, बवाना व दिल्ली देहात में लगभग 03 करोड़ रूपये से 10 करोड़ रूपये प्रति एकड़ जमीन की दर है, लेकिन दिल्ली राज्य की सरकार 53 लाख रूपये...
More »किसानों को किराए पर मिलेंगे उपकरण
जयपुर। राजस्थान के 33 में से 18 जिलों की चयनित ग्राम सेवा सहकारी समितियों में कृषि उपकरण बैंक बनाने के लिए सहकारी बैंक को 10 करोड़ रुपए उपलब्ध कराए गए हैं। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार प्रेम सिंह मेहरा ने बताया कि 10 करोड़ रुपए की लागत से गाव की सहकारी समितियों से आधुनिक कृषि यंत्र नाममात्र के किराए पर क्षेत्र के लाखों काश्तकारों को उपलब्ध हो सकेंगे। उन्होंने...
More »जन्म से बंधी सामाजिक बेड़ियां : हर्ष मंदर
लाखों महिलाएं, पुरुष और बच्चे आज भी उन अपमानजनक सामाजिक बेड़ियों में बंधे हुए हैं, जो उनके जन्म से ही उन पर लाद दी गई थीं। आधुनिकता की लहर के बावजूद आज भी भारत के दूरदराज के देहातों में जाति व्यवस्था जीवित है। यह वह व्यवस्था है, जो किसी व्यक्ति के जाति विशेष में जन्म लेने के आधार पर ही उसके कार्य की प्रकृति या उसके रोजगार का निर्धारण कर...
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