एक हिमालय नीति की जरूरत दशकों से महसूस की जा रही है। पूरे विश्व ने व संयुक्त राष्ट्र ने भी आधिकारिक रूप से यह माना है कि पहाड़ों के विकास की अलग रणनीति और तौर-तरीके होने चाहिए। पूर्व में अंतरराष्ट्रीय पर्वतीय वर्ष भी मनाया गया था। अमेरिका में तो पर्वतीय विकास पर काम करने के लिए अलग से एक अंतरराष्ट्रीय संस्थान है। इसी क्रम में हिमालय के लिए एक अलग...
More »SEARCH RESULT
फसल बीमा योजना घोटाला-- योगेन्द्र यादव
पिछले दो साल में मैंने सरकार की फसल बीमा योजना के बारे में यह बात कई बार सुनी है कि- 'भाई साहब, यह किसान की फसल का बीमा नहीं है. यह तो बैंकों ने अपने लोन का बीमा करवाया है.' साल 2015 से लेकर अब तक जय किसान आंदोलन के साथियों के साथ मिल कर मैंने देशभर में ‘किसान मुक्ति यात्रा' की. ये यात्राएं उन्हीं इलाकों में हुईं, जहां किसानों...
More »मुआवजा देना किसानों की खुदकुशी का हल नहीं, योजनाएं अमल में लाएं: SC
नई दिल्ली.देशभर में किसानों की खुदकुशी को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने चिंता जाहिर की। कोर्ट ने कहा कि सिर्फ मुआवजा देना परेशानी का हल नहीं है। सरकार को लोन के असर को कम करने की जरूरत है। हालांकि, कोर्ट ने यह भी कहा कि सुप्रीम कोर्ट सरकार के खिलाफ नहीं है, किसान आत्महत्या का मसला रातोंरात नहीं सुलझाया जा सकता। गुरुवार को चीफ जस्टिस जेएस खेहर और जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़...
More »सत्ता का संदेश- जय किसान जवान-- मुकेश भारद्वाज
आजादी के बाद भूमि सुधार की बात तो हुई लेकिन यह किसी पार्टी के एजंडे में नहीं रहा। विषमताओं और गैरबराबरी वाले भारत में इस बुनियादी मुद्दे को भुला महाजनों और मानसून पर निर्भर किसानों को विश्व बाजार के मंच पर अकेला छोड़ दिया गया। स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों पर सभी सरकारें चुप हैं। जब लोगों के जीने-मरने का सवाल पैदा हो रहा हो तो उनके सामने नोटबंदी और डिजिटल...
More »क्यों धैर्य खो रहे हैं किसान-- संजीव पांडेय
महाराष्ट्र और मध्यप्रदेश में किसान उग्र हो गए हैं। दोनों राज्यों में किसान आंदोलन हिंसक हो गया। मध्यप्रदेश में पुलिस फायरिंग में छह किसानों की मौत हो गई। यह घटना पूरे देश के लिए चेतावनी है क्योंकि किसानों ने अब शांतिपूर्वक आंदोलन के बजाय हिंसक रास्ता अख्तियार कर लिया है। कर्ज के बोझ तले दबे किसान फसलों की संतोषजनक कीमत न मिलने के कारण सड़कों पर उतर आए। सरकार की...
More »