SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 1035

बेरहम जमाने में घरेलू हिंसा का दाग - मृणाल पांडे

बीते हफ्ते जब मानसून सत्र में संसद गोकशी, कथित गोरक्षकों द्वारा मचाए गए तांडव और सर्वोच्च न्यायालय भारतीय नागरिकों के निजता अधिकार की परिधि पर बहस में मुब्तिला थे, तभी एक सफल और आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर असमिया मॉडल द्वारा पति के हाथों कथित रूप से प्रताड़ित हो आत्महत्या करने की लोमहर्षक रपट भी सुर्खियों में थी। बॉलीवुड की एक युवा अभिनेत्री जिया खान की कथित आत्महत्या भी अब तक...

More »

प्लास्टिक कचरे से मुक्ति कब-- ज्ञानेन्द्र रावत

प्लास्टिक कचरे का सवाल अकेले हमारे देश के लिए ही नहीं, वरन् समूचे विश्व के लिए अहम् है. वह बात दीगर है कि यह समस्या हमारे यहां ज्यादा गंभीर है. स्वच्छता अभियान के बावजूद प्लास्टिक युक्त कचरे ने गांव, कस्बा, नगर, महानगर यहां तक देश की राजधानी तक को चपेट में ले लिया है. सागर और महासागर भी नहीं बच सके हैं. प्लास्टिक कचरा जानवरों के लिए तो काल बन...

More »

फंसे हुए कर्ज से निजात की नई कवायद-- सतीश सिंह

सरकार ने अध्यादेश के जरिए रिजर्व बैंक को फंसे हुए कर्ज की वसूली के लिए चूककर्ता कंपनियों के विरुद्ध दिवालिया प्रक्रिया शुरू करने का अधिकार दे दिया है। इस अध्यादेश का उद््देश्य है फंसे हुए कर्ज के मौजूदा गतिरोध को खत्म करना। इस कानून के पारित होने के बाद केंद्रीय बैंक चूककर्ता कंपनियों के खिलाफ दिवालिया प्रक्रिया शुरू कर सकता है। साथ ही, फंसे हुए कर्ज की समस्या को निपटाने...

More »

हरित क्रांति के बाद से भारत में बढ़ा बीफ का उत्पादन आैर निर्यात, हर साल 27,000 करोड़ की आमदनी

नयी दिल्लीः भारत में कृषि उत्पादन बढ़ाने के लिए वर्ष 1966-67 में हरित क्रांति की शुरुआत की गयी थी, ताकि अत्याधुनिक तकनीक पर खेती किसान खेती कर सकें. इससे देश में कृषि उत्पादन में बढ़ोतरी तो हुर्इ, लेकिन इसमें पशुआें का इस्तेमाल घट गया. पशुआें का इस्तेमाल घटने की वजह से देश में बीफ के उत्पादन आैर उसके निर्यात में भी बढ़ोतरी दर्ज की गयी. राष्ट्रीय सैंपल सर्वे कार्यालय (एनएसएसआे)...

More »

जनसंख्या नियंत्रण को राह दिखाता असम-- जयप्रकाश पाडे

महात्मा गांधी ने जब कहा था, ‘धरती पर सबकी जरूरत भर का सामान है, मगर सबके लालच को पूरा करने भर का नहीं', तब उन्हें आभास भी नहीं रहा होगा कि आने वाले समय में उन्हीं का देश जनसंख्या बढ़ोतरी से संत्रस्त हो जाएगा। आज स्थिति यह है कि तमाम कल्याणकारी योजनाएं उस रूप में जरूरतमंदों और आम जन तक पहुंच ही नहीं पा रही हैं, जिस रूप में उन्हें...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close