दो मिनट में बनकर तैयार हो जाने वाली मैगी ने सारे भारत को हिला दिया है। इसे यूं भी कहा जा सकता है कि इस बार तो स्वाद पूरी तरह बेमजा हो गया। नेस्ले के नूडल्स घर-घर ही नहीं, अब तो गांवों तक अपनी पहुंच बना चुके थे। वे लोग जो चाहते हैं कि सारी दुनिया में एक भाषा, एक पहनावा, एक खाना ही चले, मैगी जैसे प्रचलन को अपनी...
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किसान को उसका वेतन आयोग कब- योगेन्द्र यादव
किसान हमें ऐसे याद आता है, जैसे कोई दूर का गरीब रिश्तेदार. हम जानते हैं वह कहीं है, लेकिन मुलाकात कभी खुशी-गमी के मौके पर ही होती है. अंकल जी की मौत का रस्मी अफसोस तो कर लेते हैं, लेकिन यह नहीं पूछते कि तुम्हारी जिंदगी कैसे चल रही है. सवाल नहीं पूछते, चूंकि हम उत्तर नहीं सुनना चाहते. शहरों में रहनेवाले भारत की किसान से मुलाकात किसी बुरी खबर...
More »स्कूली शिक्षा में आएगा नया दौर? - डॉ. मुरलीधर चांदनीवाला
स्कूलों के परीक्षा परिणाम आ चुके हैं। अच्छा परिणाम देने वाले स्कूलों के आकर्षक विज्ञापनों से अखबार भरे पड़े हैं। बेटियां आगे हैं, तो होनहार बेटों की भी कमी नहीं है। कॅरियर की चिंता में बच्चों को लेकर अभिभावक इधर-उधर हो रहे हैं। सरकारी स्कूल अभी सुस्ताने के मूड में हैं, लेकिन प्राइवेट स्कूल नए शिक्षा सत्र के लिए वंदनवार सजाकर बैठ गए हैं। इन सबके बावजूद शिक्षा के स्तर में...
More »कोरबा : 'रोशनी' तिल-तिल समा रही अंधेरे के आगोश में
कोरबा (निप्र)। गर्भ में पल रही बेटी को बचाने देश भर में भले ही अभियान चलाया जा रहा हो, पर इस दुनिया में आ चुकी 5 साल की बेटी को बचाने कोई सुध नहीं ले रहा। रोजी मजदूरी वाले कृष्णा यादव ने बड़े प्यार से अपनी बेटी का नाम रोशनी रखा था, पर उजाला होने से पहले ही वह अंधेरे की आगोश में समाने लगी है। उसके दोनों किडनी एक...
More »35 लोगों को दो-दो बार मिला इंदिरा आवास
सरकारी उपेक्षा : दलकावा गांव के महादलितों को सरकारी सुविधाओं का नहीं मिल रहा लाभ दलकावा गांव के वार्ड नंबर नौ में लोगों को इंदिरा आवास के पैसे तो मिले लेकिन वे लोग घर नहीं बनाये और पैसे रख लिये. वहीं कुछ लोग ऐसे भी मिले जिनको सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिला. सोनबरसा : प्रखंड की इंदरवा पंचायत के दलकावा गांव का वार्ड नंबर नौ महादलित बाहुल्य है. मुसहर समुदाय के...
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