धनबाद। हमारा एमडीएम शिक्षक खा जाते हैं, विद्यालय में नियमित मध्याह्न् भोजन नहीं बनता है। बनता भी है तो, चावल सड़ा होता है। खाना भी मेनू के अनुरूप नहीं बनता है। एमडीएम का बर्तन शिक्षक अपने घर में प्रयोग करते हंै। कुछ इस तरह की शिकायत बालिका प्राथमिक विद्यालय के बच्चे सोमवार को उपायुक्त कार्यालय घेराव के क्रम में की। अभिभावकों व बच्चों का दल ने सोमवार को उपायुक्त कार्यालय का घेराव...
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कटरा-औराई में बाढ़ की स्थिति विकराल
मुजफ्फरपुर, हसं : सोमवार को बागमती के जलस्तर में वृद्धि होने के कारण कटरा-औराई में बाढ़ की स्थिति विकराल हो गई। कटरा में गंगेया-नवादा के बीच बागमती नदी पर निर्मित चचरी पुल के ध्वस्त हो जाने से तेहबारा, बंधपुरा, बेलपकौना एवं बर्री सहित आसपास के गांवों की करीब 30 हजार की आबादी का संपर्क प्रखंड मुख्यालय से भंग हो गया। बसघट्टा के पासवान टोला के निकट आरसीसी पुलिया के ध्वस्त...
More »पाले से सात हजार 672 करोड़ की फसल चौपट
भोपाल. जनवरी में शीत लहर और पाले से प्रदेश में 7,672 करोड़ रुपए की फसल नष्ट हुई है। फसल के नुकसान का आकलन के लिए राज्य सरकार द्वारा कराए गए सर्वे में यह बात सामने आई। सर्वे के मुताबिक 37 लाख किसानों की फसल बर्बाद हुई है। पाले के बाद राज्य सरकार ने प्रारंभिक सर्वे के आधार पर केंद्र से 2442 करोड़ रुपए के विशेष पैकेज की मांग की थी। इस...
More »बदल रहे हैं, गांव, देहात और जंगल- हरिवंश
फ़रवरी 2008 में चतरा के नक्सल दृष्टि से सुपर सेंसिटिव गांवों में जाना हुआ. साथ के मित्रों के भय और आशंका के बीच, देर शाम तक घूमना हुआ. सूनी सड़कों पर मरघट की खामोशी के बीच. तब तक लिखा यह अनुभव भी छपा नहीं. पाठक पढ़ते समय ध्यान रखें यह फ़रवरी 2008 में लिखी गयी रपट है. कभी डालटनगंज-चतरा के इन इलाकों में खूब घूमना हुआ. समाजवादी चिंतक, अब बौद्ध अध्येता व...
More »मेहनतकश की मजदूरी का सवाल : हर्ष मंदर
‘खेतों और फैक्टरियों में काम करने वाले हर मजदूर और कामगार को कम से कम इतना अधिकार तो है ही कि वह इतनी मजदूरी पाए कि अपना जीवन सुख-सुविधा से बिता सके..।’ वर्ष 1929 के लाहौर अधिवेशन में अध्यक्षीय भाषण दे रहे जवाहरलाल नेहरू ने यह बात कही थी। इसके नौ दशक बाद स्वतंत्र भारत की केंद्र सरकार ने कहा कि लोककार्य के लिए कानून द्वारा स्थापित न्यूनतम मजदूरी का भुगतान...
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