दिल्ली. अवैध निर्माण का गढ़ बन चुकी राजधानी दिल्ली के लक्ष्मीनगर इलाके में पांच मंजिला इमारत ढहने से मरने वालों की संख्या 64 पहुंच गई है। 80 लोग जख्मी हैं। कई लोगों को अब भी मलबे से निकाला नहीं जा सका है। सरकार ने सारा दोष एमसीडी और बिल्डर पर मढ़ कर पल्ला झाड़ने की कोशिश की है। घटना के करीब 12 घंटे बाद, मंगलवार को दिल्ली की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित घटनास्थल पर पहुंचीं। वहां उन्होंने लोगों...
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मनरेगा में न्यूनतम मजदूरी का गड़बड़झाला
क्या मनरेगा को जस का तस छोड़ा जा सकता है? मनरेगा के मामले में नागरिक-संगठन आखिर इतना हल्ला किस बात पर मचा रहे हैं? क्या ग्रामीण इलाके के सामाजिक कार्यकर्ता बहुत ज्यादा की मांग कर रहे हैं? क्या यूपीए- II वह सारा कुछ वापस लेने पर तुली है जो यूपीए- I ने चुनावों से पहले दिया था? चुनौती सामने है, मनरेगा गहरे संकट में है। अरुणा राय और ज्यां द्रेज सरीखे...
More »सहरिया क्षेत्र में आज भी बंधुआ हैं लोग
जयपुर. बारां जिले के सहरिया क्षेत्र में कर्ज के बदले में बंधुआ मजदूर की तरह काम लिया जाता है और कर्ज नहीं चुका पर जमींदार आगे किसी और जमींदार को ज्यादा पैसे लेकर दे देते हैं। यह खुलासा बुधवार को यहां स्टेच्यू सर्किल के पास उद्योग मैदान में चल रहे मजदूर हक सत्याग्रह धरने के दौरान हुआ। सहरियाओं ने श्रम विभाग के प्रमुख सचिव मनोहरकांत को ज्ञापन भी दिया। ओमप्रकाश को 11 हजार...
More »इन करोड़ों बच्चों का पता कहां मिलेगा ---शिरीष खरे
2001 की जनगणना के ही अलग-अलग आकड़ों के जोड़-घटाव से एक अहम सवाल उभरता है. पहले आंकड़े के मुताबिक देश के 8 करोड़ 50 लाख बच्चे स्कूल नहीं जाते. दूसरे आंकड़े में 5 से14 साल उम्र के एक करोड़ 30 लाख बच्चे मजदूर हैं. अगर 8 करोड़ 50 लाख में से 1 करोड़ 30 लाख को घटा दें, तो सात करोड़ 20 लाख बचते हैं. यह उन बच्चों की संख्या है...
More »बेहाल बुंदेले बदहाल बुंदेलखंड - 1
अपनी वीरता और जुझारूपन के लिए प्रसिद्ध बुंदेलखंड में कई सालों के सूखे, इसके चलते पैदा कृषि संकट और इनसे निपटने की योजनाओं में भ्रष्टाचार ने पलायन और आत्महत्याओं की एक अंतहीन श्रृंखला को जन्म दे डाला है. - रिपोर्ट रेयाज उल हक बुंदेलखंड को मिले 3,506 करोड़ रुपए के पैकेज से महोबा जिले के पवा गांव की रामकली को समय पर और नियमित रूप से राशन मिल जाने की कम...
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