नई दिल्ली.देशभर में अब तक सामान्य से 5% ज्यादा बारिश हुई है। दक्षिण पश्चिम मानसून ने पूरे देश को कवर कर लिया है। गुजरात, राजस्थान, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, असम और झारखंड में बारिश आफत बन गई है। बाढ़ के चलते गुजरात और राजस्थान हाईअलर्ट पर हैं। यहां युद्धस्तर पर रेस्क्यू कार्य जारी है। नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को गुजरात में बाढ़ का जायजा भी लिया। मौसम विभाग ने 27 से...
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प्लास्टिक कचरे से मुक्ति कब-- ज्ञानेन्द्र रावत
प्लास्टिक कचरे का सवाल अकेले हमारे देश के लिए ही नहीं, वरन् समूचे विश्व के लिए अहम् है. वह बात दीगर है कि यह समस्या हमारे यहां ज्यादा गंभीर है. स्वच्छता अभियान के बावजूद प्लास्टिक युक्त कचरे ने गांव, कस्बा, नगर, महानगर यहां तक देश की राजधानी तक को चपेट में ले लिया है. सागर और महासागर भी नहीं बच सके हैं. प्लास्टिक कचरा जानवरों के लिए तो काल बन...
More »बाढ़ की चपेट में आधा हिंदुस्तानः डूबी खेती, 120 रुपये किलो बिक रहा टमाटर, प्याज भी कतार में...!
नयी दिल्लीः बीते तीन-चार दिनों से लगातार घटाटोप बारिश का दौर जारी है. इस वजह से फिलहाल करीब-करीब आधा हिंदुस्तान बाढ़ की चपेट में है. लगातार हो रही बारिश खरीफ फसलों की बुआर्इ करने वाले किसानों के लिए फायदेमंद है, लेेकिन सब्जियों खेती करने वालों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है. इसकी वजह यह है कि बारिश के पानी में सब्जियों की आवक मंडियाें तक कम हो गयी है,...
More »राजस्थान के पानी से उत्तर गुजरात की नदियां उफनीं, पांच राज्य बाढ़-बारिश से प्रभावित
नई दिल्ली। झमाझम बारिश के चलते पहाड़ों से मैदानों तक कई राज्यों में हालात बदतर हो गए हैं। गुजरात, राजस्थान, असम, ओडिशा और पश्चिमी बंगाल में सोमवार को जमकर बारिश हुई। इन राज्यों में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। मौसम विभाग ने मंगलवार तक बारिश का सिलसिला जारी रहने की संभावना बताई है। गुजरात गुजरात के सौराष्ट्र व दक्षिणी इलाकों में बाढ़ के हालात के बीच पश्चिमी राजस्थान में हुई...
More »जनसंख्या नियंत्रण को राह दिखाता असम-- जयप्रकाश पाडे
महात्मा गांधी ने जब कहा था, ‘धरती पर सबकी जरूरत भर का सामान है, मगर सबके लालच को पूरा करने भर का नहीं', तब उन्हें आभास भी नहीं रहा होगा कि आने वाले समय में उन्हीं का देश जनसंख्या बढ़ोतरी से संत्रस्त हो जाएगा। आज स्थिति यह है कि तमाम कल्याणकारी योजनाएं उस रूप में जरूरतमंदों और आम जन तक पहुंच ही नहीं पा रही हैं, जिस रूप में उन्हें...
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