इकलौते तथ्य से सत्य नहीं निकल सकता. लेकिन अनेक तथ्यों को साथ मिला कर सत्य की समग्र तसवीर बनायी जा सकती है. मसला है देश के व्यापक आर्थिक विकास और रोजगार सृजन का. यह मसला केंद्र या राज्य सरकारों के लिए ही नहीं, देश के हर अमीर-गरीब, स्त्री-पुरुष या बच्चे, बूढ़े व नौजवान के लिए बेहद अहम है. आर्थिक विकास और रोजगार सृजन के इस मसले को सुलझाने के चार...
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कब मिटेगा बाल श्रम का कलंक-- बुद्धप्रकाश
भारतीय संविधान के अनेक प्रावधानों व अधिनियमों में बच्चों की सुरक्षा की खातिर व्यवस्थाएं की गई हैं। समय-समय पर इस उद््देश्य से नए कानून भी बनाए जाते रहे हैं। इस सब के बावजूद बाल श्रम की समस्या में उत्तरोत्तर वृद्धि होती गई है। बच्चों को भावी कर्णधार और आने वाले कल की तस्वीर कहा जाता है। लेकिन कल के उज्ज्वल भविष्य का वर्तमान पेट की आग बुझाने में इस कदर...
More »जरूरी है जूट को सरकारी संरक्षण-- पंकज चतुर्वेदी
सीएसीपी यानी कृषि लागत एवं मूल्य आयोग की ताजा सिफारिशें जूट के किसानों के लिए आफत बन सकती हैं। आयोग का कहना है कि चीनी मिलों में शत-प्रतिशत जूट के बोरे के इस्तेमाल की मौजूदा नीति को बंद कर दिया जाए तथा खाद्य पदार्थों में नब्बे फीसद जूट की अनिवार्यता को पचहत्तर फीसद किया जाए। अगर ऐसा हुआ तो बंगाल का जूट किसान भूखों मर जाएगा। यही नहीं, जूट कारखानों व...
More »ब्रेक्जिट से बढ़ी दुनिया की बेचैनी - महेंद्र वेद
ब्रिटेन के लोगों ने आखिरकार 'ब्रेक्जिट" (ब्रिटेन के यूरोपीय संघ से बाहर होने) का विकल्प ही चुना। लेकिन क्या यह अजीब नहीं लगता कि एक ऐसा देश, जिसने कभी तकरीबन आधी दुनिया को अपना उपनिवेश बनाकर उसका शोषण करते हुए अपने साम्राज्य को समृद्ध व शक्तिशाली बनाया था, आज उसने कायरतापूर्ण ढंग से यूरोप से अलग होने का फैसला किया? क्या यह भी एक विडंबना नहीं है कि एक ऐसा...
More »'ब्रेक्जिट' पर जनमत, यदि हां तो चपेट में पूरी दुनिया
23 जून का दिन ब्रिटेन और यूरोपियन यूनियन के इतिहास में बड़ा दिन होगा। 2008 की मंदी के बाद वित्तीय जगत में ये दूसरी बड़ी घटना है जिसकी सभी दूर चर्चा हो रही है। इस दिन ब्रिटेन में यूरोपियन यूनियन से अलग होने या उसमें रहने पर जनमत होगा। इसे ही ब्रिक्जिट कहा जा रहा है। अग्रेंजी में इसका मतलब ब्रिटेन एक्जिट (बाहर होना)। ब्रिटेन के यूरोपियन यूनियन से अलग होने...
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