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क्‍या आयुष डॉक्टर ग्रामीण स्‍वास्‍थ्‍य सुव‍िधाओं को बेहतर कर सकते हैं? लेकिन चुनौत‍ियां भी कम नहीं

इंडियास्पेंड, 17 अक्टूबर नासिक शहर से 49 किमी दूर वाविहर्ष और देवगांव की बस्तियों में एक उप स्वास्थ्य केंद्र बना है। वैसे तो यह यहां रहने वाले लोगों को स्‍वास्‍थय सुव‍िधा देने की पहली कड़ी है। लेकिन अब ये इमारत क‍िसी उपयोग में नहीं है। देवगांव में इस उपकेंद्र को वर्ष 2002 में बनाया गया था। लेकिन इसे कभी भी उपकेंद्र के रूप में पंजीकृत नहीं किया गया। "आज इमारत धूल से...

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हिमालय पर संकट: आपदाओं पर अंकुश के लिए पारंपरिक ज्ञान और स्थानीय समुदायों की भागीदारी जरूरी

डाउन टू अर्थ, 11 अक्टूबर हिमालय में बढ़ती आपदाओं पर अंकुश लगाने के लिए ग्राम पंचायतों और स्थानीय समुदायों के साथ मिलकर योजनाएं बनानी होंगी और स्थानीय लोगों के पारंपरिक ज्ञान को आधार बनाना होगा। हिमालय के पर्यावरण पर काम कर रही संस्था हिमधरा पर्यावरण समूह द्वारा ‘हिमालय में आपदा-निर्माण’ नामक रिपोर्ट का सारांश यही है। यह रिपोर्ट 10 अक्टूबर 2023 को जारी की गई। हिमाचल प्रदेश के किन्नौर में भूस्खलन के...

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तपती-झुलसाती गर्मी में आदिवासियों का पैदल मार्च, सीआरपीएफ कैंप और सड़क चौड़ीकरण का विरोध

जनचौक, 15 मई बस्तर संभाग के नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ में पिछले लंबे समय से अलग-अलग जगहों में आदिवासी सीआरपीएफ कैंप और सड़क चौड़ीकरण के विरोध में आंदोलन कर रहे हैं। इस दौरान आदिवासी 12 और 13 मई को पैदल मार्च कर जिला कलेक्टर से मिलने पहुंचे। लगभग 200 दिनों से अबूझमाड़ तोयमेटा में हजारों ग्रामीण अपनी तीन सूत्रीय मांगों को लेकर धरने पर बैठे हैं। लगातार सरकार की तरफ से...

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पी.वी. सतीश : लीक से हटकर लकीर खींचने वाले शख्स

बिना शोरगुल मचाए उसने काम किया। न काम का श्रेय लिया; बस अपने हिस्से का काम किया। और एक दिन इस दुनिया को अलविदा कह दिया। उनका जाना भी खामोशी की तहों में छिप गया। लेकिन, पहले भी उनका काम बोल रहा था और आज भी उनका काम बोल रहा है।  पी.वी. सतीश; पेरियापटना वेंकटसुब्बैया सतीश। आपकी पैदाइश सन् 1945 के जून महीने की है। जन्म, कर्नाटक के मैसूर जिले के खाते–पीते...

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कैसे उड़ीसा में बीज बैंक जैविक खेती को बढ़ावा दे रहे हैं

इंडियास्पेंड, 16 मार्च उड़ीसा की राजधानी भुवनेश्वर से करीब 150 किमी पश्चिम में रायसर नाम की एक छोटी सी बस्ती में रहने वाले 45 वर्षीय दुर्ज्यधन जानी के लिए पिछले तीन साल काफी रोमांचित करने वाले रहे हैं। उनके लिए यह एक ऐसा समय है, जैसे वह अपने बचपन में जी रहे हैं। एक बच्चे के रूप में उन्होंने अपने परिवार को जैविक खेती करते हुए देखा था, लेकिन दो दशक...

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