पुणे की यरवदा जेल का बैरक नंबर तीन। सूरज की पहली किरणों इसके उदास अंदरूनी अहातों तक पहुंचें, इससे भी पहले एक महिला उठकर काम में जुट गई है। यह उसकी दिनचर्या का एक हिस्सा है। बैरक की ठंडी फर्श पर अब भी 52 महिला बंदी अलसभोर की गहरी नींद में डूबी हुई हैं। सभी के बदन पर हरी साड़ियां हैं, जिनका रंग अब फीका पड़ता जा रहा है। बंदिनियों की यही...
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खंडवा में कुपोषण के शिकार बच्चों की हालत खराब
जागरण ब्यूरो, भोपाल। मध्यप्रदेश के खंडवा जिले में कुपोषण के शिकार बच्चों का बुरा हाल है। शनिवार रात एक बच्ची की मौत के बाद से सरकारी मशीनरी सकते में है और बच्ची की मौत की वजह किसी और बीमारी को बता रही है। जिले में कुपोषण के शिकार लगभग नब्बे बच्चों का इलाज किया जा रहा है। खंडवा के बाल शक्ति केंद्र में इलाज करा रही खालवा क्षेत्र के...
More »जन्म से लेकर मृत्यु प्रमाण पत्र तक रिश्वतखोरी
धनबाद : यह नगर निगम है. यहां जन्म प्रमाण पत्र से लेकर मृत्यु प्रमाण पत्र तक में रिश्वतखोरी का बोलबाला है. जन्म प्रमाण पत्र के लिए दस रुपया सरकारी फीस है जबकि मृत्यु प्रमाण पत्र के लिए कोई फीस नहीं है. लेकिन कर्मी जैसा पार्टी वैसी कीमत वसूलते हैं. घड़ी की सूई की तरह पैसा बढ़ता है. अगर 24 घंटे के अंदर प्रमाण पत्र चाहिए तो मोटी रकम लगती है. नगर...
More »महंगी चिकित्सा और मरते गरीब-- भगवती प्रसाद डोभाल
आज के दौर में अलग-अलग रोगों के लिए निजी अस्पतालों की पूरे देश में बाढ़-सी आ गई, पर इनमें इलाज कितना अच्छा हो रहा है, उसकी पड़ताल आवश्यक है। यह भी देखने में आया है कि इन अस्पतालों में इलाज कराना आम जनता के बस की बात नहीं है। दूसरी ओर, सरकारी अस्पतालों की दिनोंदिन खस्ता होती हालत से इलाज के अभाव में गरीब जल्द ही इस दुनिया से विदा...
More »पंजाब में शिशु मृत्यु दर में बच्चियां अधिक
नई दिल्ली . पंजाब. शिशु मृत्युदर के मामले में पंजाब पड़ोसी राज्यों से बेहतर है पर यहां प्रसव के दौरान मरने वाले नवजातों में बच्चियों की संख्या ज्यादा है। रजिस्ट्रार जनरल ऑफ इंडिया (आरजीआई) ने जनगणना-2011 में खुलासा किया है कि यहां प्रति हजार डिलीवरी के दौरान औसतन 38 नवजातों की मौत हो जाती है। मरने वाले मासूमों में भी जहां 37 लड़के हैं, वहीं औसतन 39 बच्चियां होती हैं।...
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