जरा सोचिए, अगर आपकी गाड़ी के एक्सीडेंट में सामने का शीशा टूट जाए, लेकिन बीमा कंपनी यह कहकर आपको कुछ भी हर्जाना देने से मना कर दे कि पहिए और इंजन तो बच गए हैं। अगर किसी की दुकान जल जाए, लेकिन मुआवजा न मिले, क्योंकि बाकी पड़ोसियों की दुकानें नहीं जलीं। या फिर आप मकान खरीदने के लिए लोन लें और आपसे बिना पूछे ही आपके मकान का बीमा...
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होशंगाबाद में बनेगा देश का पहला आपदा प्रबंधन पार्क
होशंगाबाद (मध्यप्रदेश)। प्राकृतिक आपदा के दौरान कई बार लोगों को समझ में नहीं आता कि इससे कैसे निपटा जाए। आपदा आने के बाद राहत और बचाव कार्य में भी जागरुकता और जानकारी की कमी के कारण कई प्रकार की दिक्कतें आती हैं। लोगों को आपदा की जानकारी देने, उन्हें जागरूक करने और बच्चों को मनोरंजन के साथ ही बचाव के प्रति सचेत करने के मकसद से होशंगाबाद होमगार्ड कार्यालय परिसर में...
More »प्रचंड गरमी पर उबलती बहस- इला भट्ट
यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि विश्व, विशेष रूप से भारत, गरीबी के मुद्दे पर एक साथ नहीं आया है, जैसा कि यह जलवायु परिवर्तन पर एक साथ आया है. ये दोनों आपस में जुड़े हुए हैं. इसलिए, मैं भारत सरकार से आग्रह करूंगी कि देश का आइएनडीसी तैयार करते समय इसका ध्यान रखे कि क्या हमारे आइएनडीसी गरीबी को कम करने की दृष्टि से कार्बन उत्सजर्न को कम करने के लिए...
More »हादसे के बाद ही क्यों जागते हैं हम? - मिहिर आर भट्ट
इसके पहले बहुत कम ऐसा हुआ है कि भूकंप की किसी एक घटना ने इतने सारे इलाकों में इतनी सारी दरारें खोलकर हमारे सामने रख दी हों। धरती में भी, और आपदाओं का सामना करने की हमारी तैयारियों में भी। इस भूकंप ने नेपाल और भारत के एक बड़े हिस्से को सही मायनों में अपनी धुरी पर से 'हिलाकर" रख दिया है। इस भूकंप के बाद हमारे सामने कई मसले आन...
More »आपदा से निपटने की हो पुख्ता तैयारी - प्रो. संतोष कुमार
लगभग आधे भारत के साथ-साथ हिमालयी राष्ट्र नेपाल और उसके आसपास के देशों में आए भूकंप ने पूरे क्षेत्र को हिलाकर रख दिया है। इस क्षेत्र में भूकंप की घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं, लेकिन इस बार भूकंप रिक्टर स्केल पर 7.9 प्रतिशत की तीव्रता लेकर आएगा, इसकी किसी ने शायद ही कल्पना की हो। यह एक बड़े खतरे का संकेत भी है। पूरे हिमालयी क्षेत्र में भूकंपों का...
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