पटना, जागरण ब्यूरो: 'जैविक बिहार' विषय पर आयोजित अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन में बुधवार को नई हरित क्रान्ति की प्रासंगिकता खाद्य सुरक्षा और समेकित विकास के व्यापक संदर्भो में रेखांकित की गयी। वैज्ञानिकों ने मिट्टी की सेहत और संतुलन में कमी, जीवांश खत्म होते जाने, जमीन का कार्बन हवा में चले जाने और अंधाधुंध रसायनों के प्रयोग से मानव जीवन पर बढ़ रहे खतरे को लेकर गहरी चिन्ता जताई। पर्यावरण एक्टिविस्ट वंदना...
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अब नकली बीज ने रुलाया : विनोद भावुक
मंडी। नेशनल सीड्स कॉपरेरेशन से खरीद कर प्रदेश के कृषि विभाग की ओर से प्रदेश के सब्जी उत्पादकों को उपलब्ध करवाए गए खीरे के घटिया बीज से मंडी जिला के सब्जी उत्पादकों को लाखों की चपत लगी है। सबसिडी पर उपलब्ध करवाए गए खीरे के बीज ने उस वक्त किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया, जब फसल लेने का वक्त आया। इस बीज से पैदा होने वाले खीरे एक तो आकार...
More »आठ लाख किसानों को मिला 248 करोड़ का बोनस
रायपुर। छत्तीसगढ़ में आठ लाख किसानों को 248 करोड़ रुपये से अधिक का बोनस दिया गया है। आधिकारिक सूत्रों ने सोमवार को यहा बताया कि छत्तीसगढ़ में हाल ही में संपन्न ग्राम सुराज अभियान के दौरान राज्य के 14 जिलों में कुल एक हजार 266 किसान सम्मेलनों का आयोजन किया गया। इसमें प्रदेश के करीब आठ लाख किसानों को समर्थन मूल्य पर की गई धान खरीदी का 248 करोड़ रुपये...
More »आंकड़ों की खेती से नहीं निकलेंगे परिणाम
रांची : यह आयोजन समेकित व समावेशी विकास के लिए है. विकास कार्यक्रम बनें व इनमें इनपुट ही सही न हो, तो काम ठीक नहीं हो सकता. दूसरी बात कि आंकड़ों की खेती से परिणाम नहीं निकलेंगे. कृषि क्षेत्र पर सबने चिंता जाहिर की है. राज्य के अधिकतर लोगों के जीवनयापन से जुड़ा यह क्षेत्र है, लेकिन यहां पलायन व अन्य समस्याएं हैं. अब लोगों के सुझाव से वास्तविकता के साथ...
More »खेती बिना खेत के, आमदनी जेब भरके
घर में उत्पादन -कृषि विश्वविद्यालय से प्रशिक्षण पाकर सफल हो रहे किसान - बीज उत्पादन के गुर सिखाने से लेकर मदर कल्चर मिल रहा मुफ्त - विश्वविद्यालय व कृषि विज्ञान केन्द्र से किसान उठा सकते बीज अमरेन्द्र तिवारी,मुजफ्फरपुर : 'खेती बिना खेत के..' सुनकर आपको भले आश्चर्य लगे, लेकिन बात है सौ फीसदी सही। राजेन्द्र कृषि विश्वविद्यालय पूसा की पहल पर बिना खेत वाले लोग भी मशरूम की खेती कर अपनी जेबें भर...
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