जनसत्ता 2 अगस्त, 2013: नियमगिरि में खनन की इजाजत देने की बाबत सर्वोच्च न्यायालय ने अठारह अप्रैल को दिए अपने फैसले में ग्रामसभा की मंजूरी लेने का आदेश दिया था। इस फैसले और इसके बाद के घटनाक्रम ने जल, जंगल, जमीन पर स्थानीय समुदायों के हक की लड़ाई के कई विरोधाभासों और उपलब्धियों को उजागर किया है। गौरतलब है कि सर्वोच्च न्यायालय के फैसले की मनमानी व्याख्या करते हुए ओड़िशा...
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न्याय के प्रप्रतिनिधियों को न्याय नहीं
गांवों में आम आदमी को सस्ता, सुलभ न्याय दिलाने के उद्देश्य से 73 वां संविधान संशोधन विधेयक के तहत बिहार में ग्राम कचहरी को भी कानूनी मान्यता दी गयी. छोटे-मोटे विवादों का निबटारा गांवों में हो, ताकि बड़ी अदालतों पर बोझ कम हो. इसी मकसद से ग्राम कचहरी का गठन किया गया. राज्य में इसके प्रप्रतिनिधि भी हजारों की संख्या में चुने गये. पंच-सरपंच संघ बिहार प्रदेश के अध्यक्ष आमोद...
More »स्कूलों ने ज्यादा फीस वसूली तो 2 लाख तक जुर्माना लगाने की तैयारी
भोपाल. तय की गई फीस से ज्यादा राशि वसूलने वाले स्कूलों पर दो लाख रुपए तक का जुर्माना लगाने की तैयारी है। इसके लिए निजी विद्यालय शुल्क विनियम-2013 में प्रावधान किया गया है। तैयार नियमों के अनुसार फीस निर्धारण के लिए जिला व राज्य स्तरीय कमेटी का गठन किया जाएगा। कमेटी को अधिकार होगा कि स्कूल प्रबंधन द्वारा अधिक फीस लेने पर वह प्रबंधन से एक लाख रुपए का जुर्माना...
More »तोते का पिंजरा और आकाश- शीतला सिंह
जनसत्ता 11 मई, 2013: हम जिसे केंद्रीय जांच ब्यूरो कहते हैं, सर्वोच्च न्यायालय की दृष्टि में वह और कुछ नहीं, बल्कि सरकारी ‘पिंजरे का तोता' है जिसके कई मालिक हैं। न्यायालय ने यह राय कोयला घोटाले की जांच की प्रगति-रिपोर्ट उसे सौंपे जाने से पहले सरकार से साझा किए जाने पर जाहिर की है। रिपोर्ट को कानून मंत्री के अलावा कोयला मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय के संयुक्त सचिवों ने भी...
More »दूसरों का हिस्सा हड़पने वाले- सुभाष गताडे
बीते दिनों जबलपुर उच्च न्यायालय ने एक अहम फैसले में भाजपा के विधायक एवं पूर्व मंत्री मोती कश्यप के निर्वाचन को फर्जी जाति प्रमाणपत्र जमा करने के आधार पर अवैध घोषित किया। कटनी जिले के बड़वारा से चुनाव जीते मोती यों तो पिछड़ी जाति से संबद्ध रहे हैं, मगर उन्होंने चुनाव अनुसूचित तबके के लिए आरक्षित सीट से लड़ा। उनके चुनाव को बड़वारा के रामलाल कोल ने चुनौती दी थी। केवट जाति...
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