प्रशांत गुप्ता, रायपुर। प्रदेश के 27 में से 18 जिलों और इन 18 जिलों के 592 गांव ऐसे हैं, जहां पीने के पानी में फ्लोराइड (फ्लोरोसिस) की मात्रा सामान्य से अधिक है। यह खुलासा राज्य स्वास्थ्य यांत्रिकी (पीएचई) विभाग की रिपोर्ट में हुआ है। स्वास्थ्य विभाग की सर्वे रिपोर्ट भी यही खुलासा कर रही है। प्रभावित गांवों में दंतरोग और हड्डियों से संबंधित बीमारियों के मरीजों की संख्या बढ़ती चली...
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इस बार के चुनाव में खेती-किसानी मुद्दा क्यों नहीं है- हरवीर सिंह
इंदिरा गांधी के इमरजेंसी राज के बाद 1977 में हुए लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को जिस जनता पार्टी ने सत्ता से बेदखल किया, उसका चुनाव चिह्न हलधर था। उस चुनाव का एक नारा था, देश की खुशहाली का रास्ता खेतों और गांवों से होकर जाता है। साफ है कि तब राजनीति के केंद्र में किसान और गांव-देहात था। अब सोलहवीं लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है। इस चुनाव में मध्यवर्ग,...
More »सजा से अधिक समय जेल में काट चुके कैदियों की होगी रिहाई
पटना: छोटे स्तर पर कानून के साथ खिलवाड़ करने के मामलों में राज्य के विभिन्न जेलों में बंद कैदियों की गलती व उनकी सजा पर मंथन शुरू हो चुका है. राज्य कारा प्रशासन ने सूबे के सभी जेलों के अधीक्षकों को पत्र लिख कर जेलों में बंद विचाराधीन कैदियों का पूरा लेखा-जोखा तलब किया है. जेल आइजी के अनुसार यह लेखा-जोखा केंद्रीय गृह मंत्रलय के उस दिशा निर्देश के तहत मांगा...
More »जंगल के असल दावेदार- विनय सुल्तान
जनसत्ता 19 मार्च, 2014 : पिछले साल की दो घटनाएं इस देश में जल, जंगल और जमीन की तमाम लड़ाइयों पर लंबा और गहरा असर छोड़ेंगी। पहली घटना दिल्ली से दो हजार किलोमीटर की दूरी पर स्थित नियमगिरि की है। यहां ग्रामसभाओं ने एक सुर में अपनी जमीन ‘वेदांता’ के हवाले करने से इनकार कर दिया। इसके बाद वेदांता कंपनी को नियमगिरि छोड़ना पड़ा। नियमगिरि जल, जंगल और जमीन की...
More »इतने सारे लोग आखिर वोट क्यों नहीं देते- पंकज चतुर्वेदी
दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र में 16वीं लोकसभा चुनने का उत्सव शुरू हो चुका है। स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव के लिए चुनावी प्रक्रिया में कई महत्वपूर्ण बदलाव हुए हैं, लेकिन सवाल यह है कि क्या हमारी सरकार वास्तव में जनता के बहुमत की सरकार होती है। यह लोकतंत्र के मूल सिद्धांत पर व्यंग्य ही है कि केंद्र की सरकार आम तौर पर कुल आबादी के 14-15 फीसदी लोगों के समर्थन...
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