मौसम बदलाव के इस दौर में पानी का संकट एक बड़ी समस्या है, ऐसे में मुझे याद आती है छत्तीसगढ़ की टेड़ा पद्धति, जिसमें न केवल जरूरत के मुताबिक पानी निकाला जाता है, बल्कि इसमें पानी की आपूर्ति सतत् बनी रहती है, यह श्रम आधारित पद्धति है और किफायत से पानी खर्चने पर टिकी है. छत्तीसगढ़ में जशपुर जिले का एक है गांव चराईखेड़ा। वह उरांव आदिवासियों का गांव है। उनकी...
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भूख से लड़ना है, तो भोजन की बर्बादी पहले रोकिए-- पंकज चतुर्वेदी
बीते रविवार को ‘मन की बात' कार्यक्रम के तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के लोगों से खाने की बर्बादी रोकने की अपील करते हुए कहा कि ‘हम प्लेट भर ले लेते हैं, फिर खा नहीं पाते और जूठन छोड़कर निकल जाते हैं। सोचिए, जूठन न छोड़ें, तो कितने लोगों का पेट भर सकता है?' प्रधानमंत्री ने जिस गंभीरता से भोजन की बर्बादी का मुद्दा उठाया है, उससे यह उम्मीद बंधी...
More »जंगल से आती है भोजन की थाली-- बाबा मायाराम
पिछले साल सत्रह सितम्बर की सुबह 10 बजे थे। ओडिशा का छोटा कस्बा था मुनिगुड़ा। स्कूली बच्चों की एक टोली की भीड़ जमा है। यहां एक खाद्य प्रदर्शनी लगी है। कोई बैल की आकृति का भूरा कांदा, गुलाबी और लाल बेर, गहनों की तरह चमकते मक्के के भुट्टे, काली और सुनहरी धान की बालियां,फल्लियां और छोटे दाने का सांवा, कुटकी और मोतियों की तरह की ज्वार। इस खाद्य प्रदर्शनी में...
More »मेहनत और लगन के आगे उम्र बाधा नहीं, सारी जरूरतें पूरी करनेवाला अनूठा घर
चेन्नई निवासी 71 वर्षीय सुरेश ने एक असाधारण आशियाना बनाया है. एक ऐसा मकान, जो हवा, पानी, भोजन और गैस तक की सारी जरूरतें पूरी करता है. वह मानते हैं कि सरकार से हर समस्या का समाधान पाने की अपेक्षा करने से बेहतर है कि समाधान खोज कर सरकार और देश दोनों की मदद की जाये. पढ़िए एक प्रेरक रिपोर्ट. रिटायरमेंट के बाद भी चेन्नई के डी सुरेश के मन में...
More »मेहनत और लगन के आगे उम्र बाधा नहीं, सारी जरूरतें पूरी करनेवाला अनूठा घर
चेन्नई निवासी 71 वर्षीय सुरेश ने एक असाधारण आशियाना बनाया है. एक ऐसा मकान, जो हवा, पानी, भोजन और गैस तक की सारी जरूरतें पूरी करता है. वह मानते हैं कि सरकार से हर समस्या का समाधान पाने की अपेक्षा करने से बेहतर है कि समाधान खोज कर सरकार और देश दोनों की मदद की जाये. पढ़िए एक प्रेरक रिपोर्ट. रिटायरमेंट के बाद भी चेन्नई के डी सुरेश के मन में...
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