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ग्राम सभाओं की जरूरत-- डा. अनुज लुगुन

आम बजट में सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था को पांच ट्रिलियन डॉलर बनाने का लक्ष्य रखा है. बजट पर अर्थशास्त्रियों के अपने-अपने मत हैं. बीबीसी की वेबसाइट में प्रकाशित एक आर्थिक विश्लेषण में कहा गया कि अर्थव्यवस्था कहां होगी और अर्थव्यवस्था में कौन कहां होगा, ये दो अलग-अलग और महत्वपूर्ण सवाल हैं. हमारा सवाल भी यही है कि अर्थव्यवस्था में कौन कहां होगा? इस सवाल को आर्थिक से ज्यादा सामाजिक...

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एससी/एसटी छात्रों की शिक्षा के लिए बजट में कटौतीः दलित एवं आदिवासी अधिकार समूह

नई दिल्लीः दलित एवं आदिवासी अधिकार समूहों का कहना है कि अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) के छात्रों की माध्यमिक और उच्च शिक्षा के लिए बजट 2019 में कटौती की गई है. इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, दलित आर्थिक अधिकार आंदोलन की बीना पल्लीकल का कहना है कि एससी छात्रों के लिए पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति के लिए बजट में कटौती की गई है और इसके लिए इस साल...

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छत्तीसगढ़ः पारले-जी बिस्किट की फैक्ट्री से 26 बाल मज़दूर छुड़ाए गए

रायपुर: छत्तीसगढ़ के रायपुर जिले की पुलिस ने एक बिस्किट कारखाने से 26 बाल मजदरों को मुक्त कराया है. रायपुर जिले के पुलिस अधिकारियों ने बताया कि पुलिस, महिला एवं बाल विकास विभाग, श्रम विभाग, शिक्षा विभाग और सामाजिक संगठनों ने संयुक्त रूप से कार्रवाई कर आमासिविनी गांव में पारले-जी बिस्किट की उत्पादन इकाई से 26 बाल मजदूरों को मुक्त कराया गया. इन बच्चों को किशोर गृह भेज दिया गया...

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आज के समय में जाति के विरोध में कोई भी आंदोलन होता नहीं दिखता: आनंद तेलतुम्बड़े

नई दिल्ली: जाने-माने शिक्षाविद, लेखक और भीमा कोरेगांव प्रकरण में आरोपी प्रो. आनंद तेलतुम्बड़े ने आंबेडकर जयंती के मौके पर नई दिल्ली में एक सार्वजनिक सभा को संभोधित किया. इस मौके पर आनंद तेलतुम्बड़े ने कहा, ‘आंबेडकर को हर कोई अपने अपने ढंग से समझता है. आज के समय में हर राजनीतिक दल उन्हें अपना बताने की कोशिश में हैं लेकिन आंबेडकर के विचारों पर कोई नहीं चलना चाहता.' मालूम हो कि...

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दलित विमर्श का हाशिए पर जाना-- बद्रीनारायण

स बार के संसदीय चुनाव में दलित विमर्श हाशिए पर जाता दिख रहा है। एक तो राजनीतिक दलों के घोषणापत्रों में दलित समाज को वंचित श्रेणी में रखकर महिलाओं और अन्य वंचित-शोषित समुदायों के साथ ही प्रस्तुत किया जा रहा है। लिखित और प्रकाशित घोषणापत्रों व प्रचार सामग्रियों में ‘दलित' शब्द की जगह ‘अनुसूचित जाति' और ‘वंचित' जैसे शब्द आने लगे हैं। दलितों के लिए भी अन्य के साथ कुछ...

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