पिछले दिनों मीडिया में दो चौंकाने वाली खबरें सामने आयीं. एक तो उत्तर प्रदेश पुलिस विभाग के चपरासी के पदों पर 50 हजार ग्रेजुएट, 28 हजार पोस्ट ग्रेजुएट और 3700 पीएचडी धारकों ने आवेदन किया. कुल 93 हजार आवेदनकर्ताओं में सिर्फ 7400 उम्मीदवार ही ऐसे थे, जो पांचवीं पास थे. ग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट उम्मीदवारों में इंजीनियर और एमबीए डिग्री वाले शामिल थे. इस पद का काम...
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ढहता हिमालय व गलते ग्लेशियर-- मृणाल पांडे
अगस्त का महीना देश के कई हिस्सों में तबाही लाया. केरल और हिमालयीन इलाके उससे बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. केरल की उफनाती बाढ़ के नजारे हमने देखे. इसी बीच खबर आयी कि शिमला में कई भवन टूट गये और नैनीताल में लोअर मालरोड झील में समा गयी. बसों का खड्डों में गिरना और उफनते नालों में बह जाना तो लगभग रूटीन हो चला है. यह आनेवाले समय के...
More »20 साल में 60% एक्वीफर हो जायेंगे खाली फिर कैसे मिलेगा हर खेत को पानी ?
हर खेत को पानी मिले, बेशक यह सोच नेक है लेकिन इस नेक सोच को एक कारगर नीति में कैसे बदलें ? राजधानी दिल्ली के इंडिया इंटरनेशनल सेंटर के सभागार में बीते 27 अगस्त को आयोजित नेशनल वाटर कांफ्रेंस में इस मसले पर कई जरुरी सवाल सामने आये. केंद्रीय भूतल परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, योजना आयोग के पूर्व सदस्य मिहिर शाह, केंद्रीय जल आयोग तथा नीति आयोग के सदस्यों समेत देश की...
More »झारखंड का जनजातीय समाज -- जेबी तुबिद
झारखंड का जनजातीय समाज एक स्वाभिमानी समाज है. पीढ़ियों से समाज ने अपनी अस्मिता की लड़ाई लड़कर अपनी पहचान को अक्षुण्ण रखा है. प्रकृति ने उन्हें लड़ने की क्षमता दी है. साथ ही प्रकृति के साथ सामंजस्य कर जीवन बसर करने के अलौकिक गुण भी दिये हैं. सांस्कृतिक दृष्टि से समाज काफी धनी है. जनजातीय समाज अपनी दुनिया में जीता है एवं दूसरे समाज को अपने में समाविष्ट...
More »अब भी कम नहीं आर्थिक चुनौतियां - सुषमा रामचंद्रन
कई बार हमें जैसा दिखता है, वैसा होता नहीं। फिलहाल भारतीय अर्थव्यवस्था के बारे में भी यह बात सच लगती है। हां, यह सही है कि अर्थव्यवस्था को लेकर खुशी का माहौल है और शेयर बाजार सूचकांक नई बुलंदियों को छू रहा है। लेकिन हकीकत यह है कि आगामी वर्ष के लिए देश का आर्थिक परिदृश्य उतना सुहावना नजर नहीं आता। हां, ऑटोमोबाइल्स और उपभोक्ता वस्तुओं की बिक्री में उछाल...
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